Hindi, asked by kasifmohammed20, 6 months ago

संन्यासी किसको कहा गया है?​

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Answered by Anonymous
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हिन्दुओ बहुत पतन हो गया तुम्हारा अब तो सम्भल जाओ साधु सन्यासी वही होता है जो खुद व्याकरण व वेद का विद्वान हो समाज मे वेद विद्या का प्रचार करे जो अधर्म का मूल विनाश करने के लिए युवाओं को प्रेरित करे जो धर्म की स्थापना को प्रमुख कार्य मानते हुए प्राणों की भी परवाह न् करे जो भाग्यवाद पाखण्ड अंधविश्वास का विरोद्ध करे और कर्म की शिक्षा दे अब अपने आस् पास नजर दौड़ाओ कितने साधु सन्यासी है समाज मे रामलीला मैदान में मरती हुई औरतो और बच्चों को पीछे छोड़ सलवार पहन कर भाग जाने वाले रामदेव को सन्यासी कहते हो?? मांस खाने वाले, सिगार के शौकीन, पशुबलि समर्थक , गौमांस को वेदो में दुष्प्रचारित करने वाले, ईसामसीह की भक्ति में आकंठ डूबे विवेकांनंद को सन्यासी कहते हो ?? TV पर आकर राम व कृष्ण के जादू टोनो की झूठी कथा वांच कर लोगो को भाग्यवादी बनाने वाले व्यापारियों को साधु कहते हो?? अपने आप को कृष्ण का अवतार बताकर , स्टेज पर भाँडो की तरह नाचने वाले आसाराम को सन्यासी कहते हो ?? हिन्दुओ की बुद्धि विवेक जाग्रत करो संत क्या होता है ये सीखो गुरुगोविंद सिंह से जिसने चमत्कार नही दिखाए सिर्फ शौर्य दिखाया , बलिदान दिखाया। संसार को सीख दी कि अगर कोई मुसलमान सौ बार भी कुरान की कसम खाये तो भी उसका यकीन मत करना साधु क्या होता है ये सीखो रविदास से जिन्होंने खुल कर कुरान को झूठा कहा ओर वेद मत का मण्डन किया वेद धर्म सबसे बड़ा, अनुपम सच्चा ज्ञान फिर मैं क्यों छोड़ूँ इसे पढ़ लूँ झूट क़ुरान वेद धर्म छोड़ूँ नहीं कोसिस करो हजार तिल-तिल काटो चाही गोदो अंग कटार सन्यासी क्या होता है ये सीखो स्वामी श्रद्धानन्द से जिन्होंने इस्लाम और ईसायत की धज्जियां उड़ा दी और लाखों मुसलमानों की पुनः वैदिक धर्म मे वापसी कराई पंडित क्या होता है ये सीखो पंडित महेंद्र पाल आर्य से, जो पूर्व में मुस्लिम इमाम थे, धर्म के वैदिक स्वरूप को जानकर् घर वापसी की , वैदिक ग्रन्थों का पठन पाठन करके विद्या अर्जित की ओर आज हज़ारो मुसलमानों की भीड़ में मुसलमानों से शाश्त्रार्थ करते है , हज़ारो मुसलमानों की घर वापसी करा चुके है। आचार्य क्या होता है ये सीखो गुरुकुल चितोडाझाल के आचार्यो से जो हिन्दू समाज के बीच जाकर उन्हें अपने धर्म के वैदिक सिद्धान्त व विधर्मियो की कूटनीति से अवगत कराते है , हिन्दू समाज को पाखण्ड अंधविश्वास से निकाल शौर्य की शिक्षा देते है। हर रोज नए खतरों का सामना करते है अपने ही सेक्युलर गद्दार नेताओ का विरोध झेलते है , मुस्लिम कट्टरपंथियों से टक्कर लेते है । परन्तु ये तथाकथित जादू टोना करने वाले धूर्त , बड़े बड़े मठो के अधिकारी है, मीठी मीठी लच्छेदार बाते करके आपको यंत्र तंत्र माला ताबीज लाकेट बेचते है इस्लाम के विरुद्ध इनके मुँह से बोल नही निकलते , हिन्दुओ के पाखण्ड के विरुद्ध बोलने से आय के साधन नष्ट होने का भय रहता है । वेद की शिक्षाओं को समाज तक बताने का संकल्प नही रखते क्योकि ये खुद जानते है वेद शिक्षा का अर्थ है समाज से पाखण्ड अंधविश्वास जादू टोना तंत्र टोटका फलित ज्योतिष भाग्यवाद अवतारवाद से मुक्त करना है ओर समाज को कर्म शौर्य वीरता विज्ञान की शिक्षा देना ही धर्म है। ऐसा करते ही इनकी करोड़ो रुपयों का चढ़ावा इकट्ठा करने वाले मठ बन्द हो जाएंगे । हिन्दुओ अपने आदर्श साधु सन्तो का चुनाव बुद्धि से करो विवेकानन्द जैसे महासेक्युलर मांसभक्षी को संत कहते लज़्ज़ा नही आती जो संसार के सभी धर्मों को सत्य के रूप देखता है मूल्लो की सभा मे इस्लाम का मण्डन ईसाइयों की सभा मे ईसाइयत का मण्डन हिन्दुओ की सभा मे हिन्दू धर्म का मण्डन ओर सामूहिक धर्म सभा मे सर्व धर्म सद्भाब की सेक्युलर शिक्षा देता है। जिसने कभी स्वतंत्रता की लड़ाई में भाग नही लिया । वेदो का दुष्प्रचार करते हुए कहता है वेदो में गौमांस भक्षण की शिक्षा है । आंखे खोलो हिन्दुओ श्री राम व श्री कृष्ण ने विजय जादू टोनो से नही बल्कि वेद विद्या के बल पर वीरता और शौर्य से प्राप्त की थी वेद कहता है कृतं में दक्षिणे हस्ते जयो मे सव्य आहितः। गोजिद् भूयासमश्वजिद् धनञ्जयो हिरण्यजित्।।

Explanation:

\huge\text{ғᴏʟʟᴏᴡ ᴍᴇ}

\Large\text{❥PaLaK}

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