सूर्यातप का संधि विच्छेद
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सूर्यातप का संधि विच्छेद...
सूर्यातप : सूर्य + आतप
संधि भेद : गुण स्वर संधि
व्याख्या :
"किन्हीं दो शब्दों को मिलाकर बनाए गए नए शब्द को ‘संधि’ कहते हैं।
दो अलग-अलग शब्दों की संधि द्वारा नये शब्द का उत्पत्ति की जाती है, इसमें प्रथम शब्द का अंतिम वर्ण और द्वितीय शब्द के प्रथम वर्ण की संधि होती है, और नया शब्द बनता है। इस नये शब्द का अर्थ मूल शब्दों के अर्थ से अलग होता है।
संधि द्वारा बनाए गए शब्द से बने शब्द को पुनः उन उन शब्दों के स्वरूप में लाने को ‘संधि विच्छेद’ कहते हैं।
संधि के तीन भेद होते हैं।
- व्यंजन संधि
- स्वर संधि
- विसर्ग संधि
Answer:
सूर्यातप का संधि विच्छेद सूर्य + आतप होगा । यह एक स्वर संधि है । दो समीपवर्ती वर्णों के मेल से जो विकार (परिवर्तन) होता है वह सन्धि कहलाता है। सन्धि में पहले शब्द के अंतिम वर्ण का मेल होता है।सन्धि के तीन भेद हैं-(1) स्वर-सन्धि(2) व्यंजन सन्धि(3) वृद्धि (4) विसर्ग सन्धि |
स्वर- सन्धि — स्वरों के मेल को स्वर सन्धि कहते है। स्वर सन्धि के 5 भेद होते है-(i) दीर्घ सन्धि (ii) गुण सन्धि (iii) वृद्धि सन्धि (iv) यण सन्धि (v) अयादि सन्धि ।