Hindi, asked by Poojasajwan01, 1 year ago

समाचार पत्रों में विज्ञापनों की भरमार को कम करने और समसमायिका विषयों पर लेखन की की आवश्यकता दिखाते हुए दैनिक समाचार पत्र के संपादक को पत्र लिखिए

Answers

Answered by bhatiamona
18

समाचार पत्रों में विज्ञापनों की भरमार को कम करने और सम-सामयिक विषयों पर लेखन की आवश्यकता दिखाते हुए दैनिक समाचार पत्र के संपादक को पत्र  

सेवा में,

संपादक महोदय

भारत टाइम्स,

दिल्ली

संपादक महोदय..

मैं शिवम अग्रवाल आपके भारत टाइम्स समाचार पत्र का नियमित पाठक हूँ। मैं विगत कुछ दिनों से देख रहा हूँ कि भारत टाइम्स में विज्ञापनों की अत्याधिक भरमार हो गई है, और सम-सामयिक विषयों पर लेखों की काफी कमी हो गई है। कुछ समय पूर्व समाचार-पत्र में समसामयिक विषयों पर उत्कृष्ट लेख छपा करते थे। लेकिन अब उन लेखों की संख्या काफी कम हो गई है और विज्ञापनों की संख्या बढ़ती जा रही हैं। मैं समझता हूं कि समाचार पत्र के आर्थिक संचालन के लिए विज्ञापनों का प्रकाशन आवश्यक है। लेकिन समाचार पत्र की गुणवत्ता और पाठकों के दिमाग की खुराक के लिए उत्कृष्ट कोटि के लेखों की भी उतनी ही आवश्यकता है। कोई भी पाठक विज्ञापन पढ़ने के लिए समाचार पत्र नही खरीदता बल्कि अच्छे-अच्छे लेख और समाचार आदि पढ़ने के लिए समाचार पत्र खरीदता है। इसलिए आपसे अनुरोध है कि समाचार पत्र में विज्ञापन  निश्चित संख्या में ही प्रकाशित करें और अधिक से अधिक सम-सामयिक विषयों पर आधारित लेखों को प्रकाशित करने का प्रयास करें, ताकि अधिक से अधिक पाठक समाचार पत्र से जुड़ सकें और हम जैसे पाठकों को निराशा ना हो। आशा है आप मेरे सुझाव पर गौर करेंगे।

धन्यवाद,

एक पाठक,

शिवम अग्रवाल|

Answered by shivamsingh14879
1

गोपिया कृष्ण से पुराने व्यक्तियों की तुलना करने के बारे में बताना चाहती थीं कि ये पुराने व्यक्ति अपने थियेटर हुए वचनों के बारे में निश्चित थे। यदि वे किसी भी उद्देश्य या कारण के लिए किसी के लिए प्रतिबद्ध हैं, तो उन्होंने अपनी प्रतिबद्धता को नहीं तोड़ा और साथ ही उन्होंने सभी पर अपना विश्वास बनाए रखा।

Similar questions