समाज के लिए किया गया बलिदान कभी व्यर्थ नही जाता समाज हमेशा उसे याद
रखता है, प्रस्तुत कथन ततारा-वामीरो कथा के आधार पर स्पष्ट कीजिए |
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Explanation:
जो सभ्यता जितनी अधिक पुरानी होगी उतनी ही अधिक किस्से -कहानियाँ उससे जुड़ी होती है जो हमें सुनने को मिलती हैं। जो किस्से – कहानियाँ हमें सुनने को मिलती हैं जरुरी नहीं कि वो उसी तरह घटित हुई हो जिस तरह वो हमें सुनाई जा रही हों।इतना जरूर होता है कि इन किस्सों और कहानियों में कोई न कोई सीख छुपी होती है। अंदमान निकोबार द्वीपसमूह में भी बहुत तरह के किस्से – कहानियाँ मशहूर हैं। इनमें से कुछ को लीलाधर मंडलोई ने लिखा है।प्रस्तुत पाठ ‘तताँरा वामीरो कथा’ अंडमान निकोबार द्वीप समूह के एक छोटे से द्वीप पर केंद्रित है। उस द्वीप पर एक -दूसरे से शत्रुता का भाव अपनी अंतिम सीमा पर पहुँच चूका था। इस शत्रुता की भावना को जड़ से उखाड़ने के लिए एक जोड़े को आत्मबलिदान देना पड़ा था। उसी जोड़े के बलिदान का वर्णन लेखक ने प्रस्तुत पाठ में किया है।
प्यार सबको एक साथ लाता है और नफरत सब के बीच दूरियों को बढ़ाती है,इस बात से भला कौन इनकार कर सकता है। इसलिए जो कोई भी समाज के लिए अपने प्यार का ,अपने जीवन का बलिदान करता है ,समाज न केवल उसे याद रखता है बल्कि उसके द्वारा किये गए त्याग और बलिदान को बेकार नहीं जाने देता। यही वह कारण है जिसकी वजह से तत्कालीन समाज के सामने मिसाल कायम करने वाले इस जोड़े को आज भी इस द्वीप के निवासी गर्व और श्रद्धा से याद करते हैं।
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