sampradaik hindu muslim jagdo par anuched pls help
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१९४७ के भारत विभाजन के बाद मुसलमानों के खिलाफ धार्मिक हिंसा के कई मिसाल है। प्रायशः हिंदू राष्ट्रवादी भीड़ द्वारा मुसलमानों पर हिंसक हमले होते हैं जो हिंदू और मुस्लिम समुदायों के बीच स्वाभाविक संप्रदायिक हिंसा का एक पैटर्न बनाते हैं। १९५४ से १९८२ तक सांप्रदायिक हिंसा के ६९३३ मामलों में १०००० से ज्यादा लोग मारे गए हैं हिंदू-मुस्लिम सांप्रदायिक दंगों में।
मुसलमानों के विरुद्ध हिंसा के बज़ह बहुत सारे हैं। इसके आक्रे भारत के इतिहास में है- एक आक्रोश है भारत की इस्लामी बिजय के प्रति जो ब्रिटिश उपनिवेश वादियों द्वारा स्थापित नीतियों और एक मुस्लिम अल्पसंख्यक के साथ भारत के इस्लामिक भाग पाकिस्तान और भारत में विभाजन। कई विद्वानों का मानना है कि मुस्लिम विरोधी हिंसा की घटनाएं राजनीतिक रूप से प्रेरित है और मुख्यधारा की राजनीतिक पार्टियों की चुनावी रणनीति का एक हिस्सा है जो भारतीय जनता पार्टी (आरएसएस द्वारा अणुप्रेरित) की तरह हिन्दू राष्ट्रवाद से जुड़ी है। अन्य विद्वानों का मानना है कि हिंसा व्यापक नहीं है किंतु यह स्थानीय सामाजिक राजनीतिक परिस्थितियों के कारण कुछ शहरी क्षेत्रों तक ही सीमित है