Samvad on mobile phone in hindi
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राहुल - सुप्रभात सौरव !
सौरव - सुप्रभात ! काफी दिन बाद मिले। कहो कैसा चल रहा है ?
राहुल - मैं तोह ठीक हु , यही अपने एक प्रोजेक्ट में थोड़ा व्यस्त हु।
सौरव - अच्छा , ऐसा क्या ? तो किस चीज़ की परयोजना मिली है ?
राहुल - आज कल के युग में मोबाइल के दुरूपयोग।
सौरव - अरे यह तो आक के बहुत मुख्य समस्याओ में से है।
राहुल - हा , इसीलिए हमे इसके ऊपर परयोजना कर, लोगो को मोबाइल के दुरूपयोग के नारे में उजागर करना है ,
सौरव - व|ह , वाकई काफी दिलचस्प प्रोजेक्ट मालूम परता है।
राहुल - जी , तुम सही कहते हो।
सौरव - आजकल तो, मोबाइल की दुरूपयोग इतना बढ़ गया है , की इस मोबाइल के चलते लोग अपनी जान तक गवा रहे है!
राहुल - हा, मैंने ऐसे कितने लोगो को देखा है , जो निरंतर मना करने के बाद भी , रेलवे लाइन पर , फ़ोन पे बात करते हुए चलते है।
सौरव -कितने लार्वाह है ! सिर्फ यही नही , मोबाइल तो विद्यार्थियों के पढाई में भी बाधक बन रहा है। राहुल - बहुत से विद्यार्थी तो अब अपने पढाई के अमूल्य वक्त को मोबाइल के पीछे जय करते है। सौरव - इसी वजह से तो उनके रिजल्ट इतने ख़राब आ रहे है।
राहुल - सही कहा , मोबाइल मोबाइल और मोबाइल यह ज़माना तो मोबाइल के पीछे पागल बनता जा रहा है।
सौरव - हा मित्र , और मोबाइल भी तो आजकल के इतने तकनीकी रूप से उन्नत है की ,एक मोबाइल अकेला ही, अनेक से ज़रूरते पूरी कर सकता है।
राहुल - बिलकुल ! हमे शिग्र इस मोबाइल के प्रलय से मुक्त होना होगा।
सौरव - बहुत अच्छी बात कही तुमने , हमे सब क हाथ मिलकर यह उद्योग लेना होगा।
सौरव - सुप्रभात ! काफी दिन बाद मिले। कहो कैसा चल रहा है ?
राहुल - मैं तोह ठीक हु , यही अपने एक प्रोजेक्ट में थोड़ा व्यस्त हु।
सौरव - अच्छा , ऐसा क्या ? तो किस चीज़ की परयोजना मिली है ?
राहुल - आज कल के युग में मोबाइल के दुरूपयोग।
सौरव - अरे यह तो आक के बहुत मुख्य समस्याओ में से है।
राहुल - हा , इसीलिए हमे इसके ऊपर परयोजना कर, लोगो को मोबाइल के दुरूपयोग के नारे में उजागर करना है ,
सौरव - व|ह , वाकई काफी दिलचस्प प्रोजेक्ट मालूम परता है।
राहुल - जी , तुम सही कहते हो।
सौरव - आजकल तो, मोबाइल की दुरूपयोग इतना बढ़ गया है , की इस मोबाइल के चलते लोग अपनी जान तक गवा रहे है!
राहुल - हा, मैंने ऐसे कितने लोगो को देखा है , जो निरंतर मना करने के बाद भी , रेलवे लाइन पर , फ़ोन पे बात करते हुए चलते है।
सौरव -कितने लार्वाह है ! सिर्फ यही नही , मोबाइल तो विद्यार्थियों के पढाई में भी बाधक बन रहा है। राहुल - बहुत से विद्यार्थी तो अब अपने पढाई के अमूल्य वक्त को मोबाइल के पीछे जय करते है। सौरव - इसी वजह से तो उनके रिजल्ट इतने ख़राब आ रहे है।
राहुल - सही कहा , मोबाइल मोबाइल और मोबाइल यह ज़माना तो मोबाइल के पीछे पागल बनता जा रहा है।
सौरव - हा मित्र , और मोबाइल भी तो आजकल के इतने तकनीकी रूप से उन्नत है की ,एक मोबाइल अकेला ही, अनेक से ज़रूरते पूरी कर सकता है।
राहुल - बिलकुल ! हमे शिग्र इस मोबाइल के प्रलय से मुक्त होना होगा।
सौरव - बहुत अच्छी बात कही तुमने , हमे सब क हाथ मिलकर यह उद्योग लेना होगा।
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