script of namak ka daroga
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है।
वेतन
मनय ु
देता
है
,
इसी
से
उसम
विद ृ
नहं
होती।
ऊपर
आमदनी
ईवर
देता
है
,
इसी
से
उसक
बरकत
होती
ह
,
तम ु
वयं
ववान
हो
,
तह ु
या
समझाऊँ ।
'
इस
वषय
म
ववेक
क
बडी
आवयकता
है।
मनय ु
को
देखो
,
उसक
आवयकता
को
देखो
और
अवसर
को
देखो
,
उसके
उपरांत
जो
उचत
समझो
,
करो।
गरजवाले
आदमी
के
साथ
कठोरता
करने
म
लाभ
ह
लाभ
है।
लेकन
बेगरज
को
दाँव
पर
पाना
जरा
कठन
है।
इन
बात
को
नगाह
म
बाँध
लो
यह
मेर
जम
भर
क
कमाई
है।
इस
उपदेश
के
बाद
पताजी
ने
आशीवाद
दया।
वंशीधर
आाकार
प ु
थे।
ये
बात
यान
से
सनीं ु
और
तब
घर
से
चल
खडे
हए। ु
इस
वतत ृ
संसार
म
उनके
लए
धैय
अपना
म
,
बिद ु
अपनी
पथदशक
और
आमावलबन
ह
अपना
सहायक
था।
लेकन
अछे
शकन ु
से
चले
थे
,
जाते
ह
जाते
नमक
वभाग
के
दारोगा
पद
पर
तिठत
हो
गए।
वेतन
अछा
और
ऊपर
आय
का
तो
ठकाना
ह
न
था।
वद ृ
मंशीजी ु
को
सख ु
-
संवाद
मला
तो
फले ू
न
समाए।
महाजन
कछ ु
नरम
पडे
,
कलवार
क
आशालता
लहलहाई।
पडोसय
के
दय
म
शल ू
उठने
लगे।
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