Stri Shiksha ke vipaksh mein paragraph in hindi
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Explanation:
पौराणिक युग से लेकर आजादी के बाद के समय तक महिला साक्षरता को लेकर किये गये प्रयासों में बहुत प्रगति हुई है। हालाँकि अभी यह कार्य संतुष्टि के स्तर तक नहीं पहुँचा है। अभी भी इस दिशा में काफी काम करना बाकी है। भारत के विश्व में बाकी देशों से पिछड़ने के पीछे महिला साक्षरता की कमी का ही होना है। भारत में महिला साक्षरता को लेकर गंभीरता इसलिए कम है क्योंकि बहुत पहले समाज में महिलाओं पर तरह-तरह की पाबंदियां थोप दी गई थी। इन पाबंदियों का जल्द ही हटाना बेहद जरुरी है। इन प्रतिबंधों को हटाने के लिए हमें महिला शिक्षा को लेकर व्यापक स्तर पर जागरूकता फैलानी होगी और महिलाओं को अपने अधिकारों के प्रति प्रेरित करना होगा जिससे वे आगे आकर समाज और देश को बदलने में महत्वपूर्ण भूमिका अदा कर सके।
महिला शिक्षा की बेहतरी के लिए निम्नलिखित योजनायें भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही है:
सर्व शिक्षा अभियानइंदिरा महिला योजनाबालिका समृधि योजनाराष्ट्रीय महिला कोषमहिला समृधि योजनारोज़गार तथा आमदनी हेतु प्रशिक्षण केंद्रमहिलाओं तथा लड़कियों की प्रगति के लिए विभिन्न कार्यक्रम
भारत में महिला शिक्षा को प्रभावित करने वाले निम्नलिखित कारण है:
कुपोषण तथा भरपेट खाना न मिलनानाबालिग उम्र में यौन उत्पीड़नमाता–पिता की ख़राब आर्थिक स्थितिकई तरह की सामाजिक पाबंदीघर में माता-पिता या सास-ससुर का कहना मानने का दबावऊँची शिक्षा हासिल करने की अनुमति ना होनाबचपन में संक्रमण रोग से लड़ने की प्रयाप्त शक्ति की कमी
सर्व शिक्षा अभियान क्या है
सर्व शिक्षा अभियान एक राष्ट्रीय योजना है जिसे भारत सरकार द्वारा चलाया जा रहा है। इसका उद्देश्य 8 साल तक 6 से 14 वर्ष के बच्चों को उत्तम शिक्षा देने का है। पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा शुरू की गयी इस योजना का मुख्य लक्ष्य है:
2002 तक देश के सभी जिलो में शिक्षा को पहुँचाना।2003 तक सभी बच्चों का स्कूल में दाखिला करवाना।2007 तक सभी बच्चों की न्यूनतम 5 साल की शिक्षा अनिवार्य करना।2010 तक सभी बच्चें अपनी 8 साल की शिक्षा पूरी कर चुके हो इसको सुनिश्चित करना।
निष्कर्ष
शहरी तथा ग्रामीण इलाकों में महिला शिक्षा का स्तर काफी बढ़ा है। हालाँकि ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं के लिए अलग से विशेष योजनायें चलाई गयी है। गावों में महिलाओं को शिक्षित करने के साथ–साथ उनके लिए रोज़गार संबंधी अवसर भी बढ़ाये जाने चाहिए जिससे वे अच्छी आमदनी अर्जित कर अपने परिवार का सही गुज़ारा कर सके।