surya grahan superstition in Marathi speeches
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इस साल का आखिरी सूर्य ग्रहण 26 दिसंबर, 2019 को लगने जा रहा है जो वलयाकार होगा. यानी ये ग्रहण पूर्णग्रास नहीं बल्कि खंडग्रास सूर्य ग्रहण होगा. इससे पहले इस साल छह जनवरी और दो जुलाई को आंशिक सूर्यग्रहण लगा था.
पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय द्वारा जारी एक बयान में बताया गया कि भारत में सूर्योदय के बाद इस वलयाकार सूर्य ग्रहण को देश के दक्षिणी भाग में कर्नाटक, केरल और तमिलनाडु के हिस्सों देखा जा सकेगा जबकि देश के अन्य हिस्सों में यह आंशिक सूर्य ग्रहण के रूप में दिखाई देगा.
भारतीय समय अनुसार आंशिक सूर्यग्रहण सुबह आठ बजे आरंभ होगा जबकि वलयाकार सूर्यग्रहण की अवस्था सुबह 9.06 बजे शुरू होगी. सूर्य ग्रहण की वलयाकार अवस्था दोपहर 12 बजकर 29 मिनट पर समाप्त होगी जबकि ग्रहण की आंशिक अवस्था दोपहर एक बजकर 36 मिनट पर समाप्त होगी.
ये ग्रहण देश के दक्षिणी हिस्से में कुछ स्थानों कन्नानोर, कोयंबटूर, कोझीकोड, मदुरई, मंगलोर, ऊटी, तिरुचिरापल्ली जगहों से होकर गुजरेगा. भारत में वलयाकार सूर्य ग्रहण के समय सूर्य का करीब 93 फीसदी हिस्सा चांद से ढका रहेगा.
वलयाकार पथ से देश के उत्तर और दक्षिण की ओर बढ़ने पर आंशिक सूर्य ग्रहण की अवधि घटती जाएगी. सूर्य का वलयाकार ग्रहण भूमध्य रेखा के निकट उत्तरी गोलार्ध में एक संकीर्ण गलियारे में दिखाई देगा.
वलयाकार पथ सऊदी अरब, कतर, ओमान, संयुक्त अरब अमीरात, भारत, श्रीलंका के उत्तरी भाग, मलेशिया, सिंगापुर, सुमात्रा एवं बोर्निओ से होकर गुजरेगा. अगला सूर्य ग्रहण भारत में 21 जून, 2020 को दिखाई देगा.
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