तुम 454 प्रेमनगर जोधपुर की निवासियों सुमेधा हो। तुम्हे तुम्हारी सखी रंजना नं पत्र द्वारा बधाई भेजी है। जिसमें तुम्हे और अधिक आगे बढ़ने की प्ररेणा दी गई। अपनी सखी को इस बधाई पत्र के प्रत्युत्तर में एक कृतज्ञता पत्र लिखिए।
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आप चेन्नई के रामचंद्र है आपका अनुक्रमांक 837 तथा कक्षा दसवीं बी है गत वर्ष आपका मासिक शुल्क कम था इस बार भी प्रधानाचार्य को मासिक शुल्क कम करने के लिए प्रार्थना पत्र लिखिए-
सेवा में,
प्रधानाचार्य
केन्द्रीय विद्यालय
आवडी
चेन्नई
विषय:- मासिक शुल्क कम कराने हेतु
श्रीमान् जी,
सविनय निवेदन है कि मैं आपके विद्यालय में कक्षा दसवीं बी छात्र हूं गत वर्ष मेरे पिता का देहांत हो गया था जिसके के कारण पिछले वर्ष मेरा मासिक शुल्क कम कर दिया गया था आपसे निवेदन है कि इस वर्ष भी मेरा शुल्क कम कर दें ताकि मैं अपनी पढ़ाई जारी रख सकूं।
श्रीमान् जी मैंने नवीं कक्षा में 85% अंक लेकर विद्यालय के अग्रणी दस छात्रों में स्थान प्राप्त किया हैं। मैं आपको विश्वास दिलाता हूँ कि इस वर्ष भी लगन और परिश्रम से स्थान बनाए रखूँगा।
धन्यवाद !
प्रार्थी
रामचंद
कक्षा दसवीं बी
अनुक्रमाक 837
दिनांक 22 मार्च 2020
आपके नगर के विद्युत अधिकारी को बिजली की कटौती के कारण पढ़ाई में आने वाली कठिनाइयों की चर्चा करते हुए इसमें सुधार के लिए पत्र लिखिए
प्रेषक:
केवल कृष्ण
22 माडल टाउन
डिब्रूगढ
दिनांक 13
सेवा मे,
विद्युत अधिकारी
डिब्रूगढ
महोदय,
मैं आपका ध्यान बिजली संकट की ओर दिलाना चाहता है। पिछले छ मास से नगर की विद्युत आपूर्ति खंडित हो गई हैं। जब चाहे बिजली चली जाती है और घंटों घंटों नहीं आती हैं।
महोदय मैं एक विद्यार्थी हूँ। मेरे जैसे अन्य विद्यार्थी भी बिजली गुल होने कारण बेहद तनाव में हैं। यदि ऐसा चलता रहा हमारा कैरियर चौपट हो जाएगा। कृपया आप कुछ कीजिए जिससे हमें नियमित बिजली मिलती रहे।
भवदीय
केवल कृष्ण
तुम 454 प्रेमनगर जोधपुर की निवासियों सुमेधा हो। तुम्हे तुम्हारी सखी रंजना नं पत्र द्वारा बधाई भेजी है। जिसमें तुम्हे और अधिक आगे बढ़ने की प्ररेणा दी गई। अपनी सखी को इस बधाई पत्र के प्रत्युत्तर में एक कृतज्ञता पत्र लिखिए।
सुमेधा
454 प्रेमनगर
जोधपुर
10 मार्च 2020
प्रिय रंजना
सस्नेह स्मरण !
तुम्हारा बधाई पत्र मिला। पढ़कर अपार प्रसन्नता मिली। यूँ तो आजकल मैं बहुत खुश हूँ क्योकि ढेर सारे बधाई संदेश मिल रहे है विद्यालय से मित्रों अध्यापकों से परिचितों से अपरिचितं से। सभी मेरी पीठ थपथपा रहें हैं। परंतु तुम्हारे बधाई पत्र को पाकर मैं सचमुच बहुत प्रसन्न हूँ। क्योकि तुम्हारे शब्दों को मैं बहुत महत्व देती हूँ। तुम्हारी प्ररेणा से ही मैंने इस दिशा में इतनी उन्नति की है। तुमने सफ़लता में ही नही असफ़लता के क्षणो मे भी मुझे उत्साह दिया है। मेरी इस सफ़लता में तुम्हारे उत्साह बल न होता तो शायद आज मैं इस शिखर पर न पहुँच सकती।
तुम्हारे बधाई पत्र के लिए कैसें कृतज्ञता व्यक्त करूँ। शब्दों में सामर्थ्य नही वचन हो रहे बौने।
मम्मी पापा को सादर नमस्कार।
तुम्हारी
सुमेधा
Explanation:
please thank my all answers please
The Exact Copy Of Something Is Called Replica