Hindi, asked by Anonymous, 9 months ago

\  \textless \\  \textgreater \ &lt;html&gt;&lt;body&gt; &lt;marquee style="z-index:2;position:absolute;left:18px;top:97px;font-family:Cursive;font-size:14pt;color:#ffcc00;height:200px;" scrollamount="3" direction="down"&gt;Gudmrg everyone&lt;/marquee&gt; &lt;marquee style="z-index:2;position:absolute;left:1px;top:89px;font-family:Cursive;font-size:14pt;color:#ffcc00;height:100px;" scrollamount="7" direction="down"&gt;Gudmrg everyone&lt;/marquee&gt;  &lt;marquee style="z-index:2;position:absolute;left:111px;top:7px;font-family:Cursive;font-size:14pt;color:#ffcc00;height:302px;" scrollamount="4" direction="down"&gt;Please give&lt;/marquee&gt;  &lt;marquee style="z-index:2;position:absolute;left:225px;top:83px;font-family:Cursive;font-size:14pt;color:#ffcc00;height:371px;" scrollamount="3" direction="down"&gt;Please yar dado&lt;/marquee&gt;   &lt;marquee style="z-index:2;position:absolute;left:105px;top:53px;font-family:Cursive;font-size:14pt;color:#ffcc00;height:317px;" scrollamount="2" direction="down"follow me&lt;/marquee&gt;&lt;/body&gt; &lt;/html&gt; <br />&lt;svg width="10" height="10" viewBox="0 0 100 100"&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;path fill="red" d="M92.71,7.27L92.71,7.27c-9.71-9.69-25.46-9.69-35.18,0L50,14.79l-7.54-7.52C32.75-2.42,17-2.42,7.29,7.27v0 c-9.71,9.69-9.71,25.41,0,35.1L50,85l42.71-42.63C102.43,32.68,102.43,16.96,92.71,7.27z"&gt;&lt;/path&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;animateTransform \ \textless \ br /\ \textgreater \ attributeName="transform" \ \textless \ br /\ \textgreater \ type="scale" \ \textless \ br /\ \textgreater \ values="1; 1.5; 1.25; 1.5; 1.5; 1;" \ \textless \ br /\ \textgreater \ dur="2s" \ \textless \ br /\ \textgreater \ repeatCount="40"&gt; \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;/animateTransform&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;/svg&gt;&lt;svg width="10" height="10" viewBox="0 0 100 100"&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;path fill="white" d="M92.71,7.27L92.71,7.27c-9.71-9.69-25.46-9.69-35.18,0L50,14.79l-7.54-7.52C32.75-2.42,17-2.42,7.29,7.27v0 c-9.71,9.69-9.71,25.41,0,35.1L50,85l42.71-42.63C102.43,32.68,102.43,16.96,92.71,7.27z"&gt;&lt;/path&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;animateTransform \ \textless \ br /\ \textgreater \ attributeName="transform" \ \textless \ br /\ \textgreater \ type="scale" \ \textless \ br /\ \textgreater \ values="1; 1.5; 1.25; 1.5; 1.5; 1;" \ \textless \ br /\ \textgreater \ dur="2s" \ \textless \ br /\ \textgreater \ repeatCount="40"&gt; \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;/animateTransform&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;/svg&gt;&lt;svg width="10" height="10" viewBox="0 0 100 100"&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;path fill="green" d="M92.71,7.27L92.71,7.27c-9.71-9.69-25.46-9.69-35.18,0L50,14.79l-7.54-7.52C32.75-2.42,17-2.42,7.29,7.27v0 c-9.71,9.69-9.71,25.41,0,35.1L50,85l42.71-42.63C102.43,32.68,102.43,16.96,92.71,7.27z"&gt;&lt;/path&gt;\ \textless \ br /\ \textgreater \ \ \textless \ br /\ \textgreater \ &lt;animateTransform \ \textless \ br /\ \textgreater \ attributeName="transform" \ \textless \ br /\ \textgreater \ type="scale" \ \textless \ br /\ \textgreater \ values="1; 1.5; 1.25; 1.5; 1.5; 1;" \ \textless \ br /\ \textgreater \ dur="2s" \ \textless \ br /\ \textgreater \ repeatCount="40"&gt; \ \textless \ \textgreater \ &lt;/animateTransform&gt;\ \textless \ \textgreater \ \ \textless \ \textgreater \ &lt;/svg&gt;​​ नदियों में होने वाले लाभों के विषय में 20 पक्तिया लिखिए।।​

Answers

Answered by TheNarayan
5

Answer:

MRNG DEAR♥️♥️♥️♥️♥️♥️♥️

Answered by Anonymous
13

 \sf\green{ANSWER}

 \bf{\underline\red{in- points }}

  • नदियाँ खेती के लिए लाभदायक उपजाऊ जलोढ़ मिट्टी का उत्तम स्त्रोत होती हैं।

  • नदियां न केवल जल प्रदान करती है बल्कि घरेलू एवं उद्योगिक गंदे व अवशिष्ट पानी को अपने साथ बहकर ले भी जाती है।

  • नदियां न केवल जल प्रदान करती है बल्कि घरेलू एवं उद्योगिक गंदे व अवशिष्ट पानी को अपने साथ बहकर ले भी जाती है।

  • नदियों में मत्स्य पालन से मछली के रूप मे खाद्य पदार्थ भी प्राप्त होते हैं।

  • नदियों के कारण मनुष्य को उपजाऊ भूमि प्राप्त होती है, जिससे मनुष्य जाति फलती-फूलती है। मनुष्य के दैनिक जीवन में पानी का महत्वपूर्ण स्थान है।

  • उसे पीने से लेकर, नहाने तक में पानी की आवश्कता होती है।

 \bf{\underline\blue{nibandh }}

  •  \bf{\underline\pink{1}} एक नदी मनुष्य के जीवन को सुखमय बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। नदियों के कारण मनुष्य को उपजाऊ भूमि प्राप्त होती है, जिससे मनुष्य जाति फलती-फूलती है। मनुष्य के दैनिक जीवन में पानी का महत्वपूर्ण स्थान है। उसे पीने से लेकर, नहाने तक में पानी की आवश्कता होती है |

  •  \bf{\underline\green{2}} देश कोई भी हो परन्तु किसी भी सभ्यता के पनपने के लिए नदियों का होना आवश्यक है। एक नदी मनुष्य के जीवन को सुखमय बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। नदियों के कारण मनुष्य को उपजाऊ भूमि प्राप्त होती है, जिससे मनुष्य जाति फलती-फूलती है। मनुष्य के दैनिक जीवन में पानी का महत्वपूर्ण स्थान है। उसे पीने से लेकर, नहाने तक में पानी की आवश्कता होती है। पानी के कारण ही वह जीवित है। यह मनुष्य के लिए ही नहीं बल्कि जीव-जन्तु, पेड़-पौधों के लिए भी आवश्यक तत्व है। इसकी आपूर्ति नदियों से ही होती है। भारत में तो नदियों के इसी गुण के कारण उसे माता की संज्ञा दी गई है। माता जिस तरह से बच्चे का लालन-पालन करती है, नदी भी वैसे ही मनुष्य का लालन-पालन करती है। मनुष्य के मुंडन से लेकर उसकी मृत्यु तक नदी कहीं न कहीं माँ के समान उसके साथ रहती है। आज नदियों में जल कम हो रहा है, जिसके कारण लोगों को जल की आपूर्ति नहीं हो पा रही है। इसके कारण सभी स्थानों पर हाहाकार मचा हुआ है। इन जीवनदायी स्रोतों को मनुष्य ने अपने स्वार्थ से सोख लिया है। अतः हमें चाहिए कि नदियों के महत्व को समझते हुए इन्हें बचाएँ। वरना एक समय ऐसा आएगा कि मनुष्य स्वयं ही मृत्यु की कगार पर आ खड़ा होगा।

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