Hindi, asked by anshu12hr, 11 months ago

"दो बैलों की कथा" से रचना और अभिव्यक्ति से प्रश्न संख्या 11, 12 के उत्तर लिखें | प्रश्न.11-हीरा और मोती ने शोषण के खिलाफ आवाज उठाई लेकिन उसके लिए प्रताड़णा भी सही। हीरा मोती की इस प्रतिकृया पर तर्क सहित अपने विचार प्रकट करे। प्रश्न.12-क्या आपको लगता है की यह कहानी आजादी की लड़ाई की ओर भी संकेत करती है?

Answers

Answered by anitasingh0955
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Answer:

Question 11:

हीरा और मोती ने शोषण के खिलाफ़ आवाज़ उठाई लेकिन उसके लिए प्रताड़ना भी सही। हीरा-मोती की इस प्रतिक्रिया पर तर्क सहित अपने विचार प्रकट करें।

Answer:

हीरा और मोती पर बहुत अत्याचार किए गए, उनका शोषण किया गया। परन्तु हीरा और मोती ने इसे चुपचाप सहने के बजाए इसके विरुद्ध आवाज़ उठाई, भले ही इसके लिए उन्हें प्रताड़ना सहनी पड़ी तथा बहुत कष्टों का सामना भी करना पड़ा।

अपने मालिक पर अगाध स्नेह होने के बावजूद उन्हें गया अपने साथ ले गया। यह उन्हें मंजूर नहीं था। परन्तु फिर भी अपने मालिक के लिए वे गया के साथ जाने को तैयार हो जाते हैं। गया का व्यवहार उनके प्रति कुछ ठीक नहीं था। वो उन्हें दिन-दिन भर भूखा रखता तथा सख्ती से पूरा काम करवाता था। पशुओं के प्रति मनुष्य का यह व्यवहार अनुचित है। सहनशक्ति भी एक हद तक जवाब दे जाती है। हीरा और मोती के साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ। उनके असंतोष ने भी विद्रोह का रुप ले लिया। ऐसा होना स्वाभाविक है।

Question 12:

क्या आपको लगता है कि यह कहानी आज़ादी की लड़ाई की ओर भी संकेत करती है?

Answer:

प्रेमचंद स्वतंत्रता पूर्व लेखक हैं। इनकी रचनाओं में भी इसका प्रभाव देखा गया है। “दो बैलों की कथा” नामक कहानी भी इससे अछूती नहीं है।

मनुष्य हो या पशु पराधीनता किसी को भी स्वीकार नहीं है। सभी स्वतंत्र होना चाहते हैं। प्रस्तुत कहानी की कथावस्तु भी इन्हीं मनोविचार पर आधारित है। प्रेमचंद ने अंग्रेज़ों द्वारा भारतीयों पर किए गए अत्याचारों को मनुष्य तथा पशु के माध्यम से व्यक्त किया है। इस कहानी में उन्होंने यह भी कहा है कि स्वतंत्रता सहज ही नहीं मिलती, इसके लिए निरंतर संघर्ष करना पड़ता है। जिस प्रकार अंग्रेज़ों के अत्याचार से पीड़ित जनता ने अपना क्षोभ विद्रोह के रुप में व्यक्त किया, उसी प्रकार बैलों का गया के प्रति आक्रोश भी संघर्ष के रुप में भड़क उठा। इस प्रकार परोक्ष रुप से यह कहानी आज़ादी की भावना से जुड़ी है।

Explanation:

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Answered by latabara97
0

प्रश्न.11-हीरा और मोती ने शोषण के खिलाफ आवाज उठाई लेकिन उसके लिए प्रताड़णा भी सही। हीरा मोती की इस प्रतिकृया पर तर्क सहित अपने विचार प्रकट करे।

ऐसा अक्सर होता है कि लोग शोषण को सहते रहते हैं और कोई भी उसके खिलाफ आवाज नहीं उठाता है। जब कोई इक्का दुक्का व्यक्ति शोषण के खिलाफ आवाज उठाता है तो उसे कई कष्टों का सामना करना पड़ता है। उस एक व्यक्ति के बलिदान से अक्सर अन्य लोगों को भी फायदा होता है। ऐसा इस कहानी में भी हुआ है।

प्रश्न.12-क्या आपको लगता है की यह कहानी आजादी की लड़ाई की ओर भी संकेत करती है?

लेखक ने प्रत्यक्ष रूप से आजादी की लड़ाई की तरफ कोई संकेत नहीं दिया है। लेकिन यदि बैलों को रूपक मान लें तो उनकी लड़ाई आजादी की लड़ाई की तरफ संकेत करती है। जिस तरह अधिक अत्याचार से त्रस्त होकर हीरा और मोती बगावत का बिगुल बजा देते हैं उसी तरह भारत के लोगों ने भी आजादी की लड़ाई शुरु की थी।

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