द्रोपति की स्वयं वर में विरुद्ध क्या खुशी हुई थी?
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द्रोपदी, हिन्दू पौराणिक कथा महाभारत की एक बहुत ही प्रमुख पात्र हैं. महाभारत की कथा के अनुसार द्रोपदी का जन्म क्षत्रियों के संहार और कौरवों के विनाश के लिए हुआ था. द्रोपदी, पंचाल के राजा द्रुपद की पुत्री थी, जिनका जन्म अग्निकुण्ड से हुआ. द्रोपदी बहुत ही सुन्दर राजकुमारी थी. इनके पिता राजा द्रुपद अपनी पुत्री का विवाह अर्जुन से कराना चाहते थे, किन्तु उस समय उन्हें यह समाचार प्राप्त हुआ था, कि पांडवों की मृत्यु हो चुकी है. राजा द्रुपद अपनी पुत्री के लिए एक महान पराक्रमी वर चाहते थे इसलिए उन्होंने द्रोपदी के स्वयंवर का आयोजन किया और उसमें एक शर्त भी रखी.
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