द्रौपदी स्वयंवर:
प्रश्न 1. द्रौपदी के स्वयंवर के लिए राजा द्रुपद कि क्या शर्त थी?
प्रश्न 2. द्रौपदी स्वयंवर की शर्त किसने और कैसे पूरी की?
प्रश्न 3.पांडवों का असली परिचय जानने पर द्रुपद की क्या प्रतिक्रिया हुई ?
Answers
Answer:
महाभारत में राजा द्रुपद ने अपनी पुत्री द्रौपदी के विवाह के लिए स्वयंवर का आयोजन किया। इस स्वयंवर में कई राजाओं ने भाग लिया था। स्वयंवर की शर्त यह थी कि वहां रखे धनुष को उठाकर पर प्रत्यंचा चढ़ानी थी और नीचे पानी में देखकर ऊपर छत पर घूम रही मछली की आंख का निशाना लगाना था।
पांचाल के राजा द्रुपद अपनी पुत्री द्रोपदी का विवाह एक महान पराक्रमी राजकुमार से कराना चाहते थे. पांडू पुत्र अर्जुन सर्वश्रेठ धनुर्धारी थे और राजा द्रुपद अपनी पुत्री का विवाह उन्ही से कराना चाहते थे, किन्तु उन्हें यह खबर मिली कि पांडू पुत्रों की मृत्यु हो चुकी है. उन्होंने सोचा की वे द्रोपदी के लिए योग्य वर की तलाश कैसे करेंगे. फिर उन्होंने इसके लिए पांचाल कोर्ट में ही द्रोपदी के स्वयंवर का आयोजन किया और उसकी एक शर्त भी रखी. कोर्ट के केंद्र में एक खंबा खड़ा किया हुआ था, जिस पर एक गोल चक्र लगा हुआ था. उस गोल चक्र में एक लकड़ी की मछली फंसी हुई थी जोकि एक तीव्र वेग से घूम रही थी. उस खम्बे के नीचे पानी से भरा हुआ पात्र रखा था. धनुष बाण की मदद से उस पानी से भरे पात्र में मछली का प्रतिबिम्ब देखकर उसकी आँख में निशाना लगाना था. उन्होंने कहा कि जो भी राजकुमार मछली पर सही निशाना लगेगा उसका विवाह द्रोपदी के साथ होगा.
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