The average age of man in general in Vedic period is stated as- (वैदिक काल में सामन्यतया मनुष्य की औसत आयु बताई गयी है।
a. 75 years
b. 100 years
C. 110 years
d. 120 years
Answers
The average age of man in general in the Vedic period is stated as...
(वैदिक काल में सामन्यतया मनुष्य की औसत आयु बताई गयी है।...
➲ b. 100 years
Explanation:
⏩ The average age of man in the Vedic period is said to be 100 years.
In the Vedic period, the age of man was 100 years and the life span of man was divided into four 'Ashrams'.
These 'Ashrams' were...
① Brahmacharya Ashram
② Grihastha Ashram
③ Vanprastha Ashram
④ Sannyasa Ashram
The man spent the first 25 years of his life as a 'Brahmacharya Ashram'. Under this, he used to get an education and followed the rules of morality. After this, man used to get married after the age of 25 and he was following a married life in the 'Grahastha Ashram' till the age of 50.
After attaining the age of 50, he would go into the forest and spend 25 years of his life as 'Vanprastha Ashram'.
After attaining the age of 75, he would leave the normal life under the 'Sannyasa Ashram' and completely engage in the meditation of God and try to attain salvation.
व्याख्या:
⏩ वैदिक काल में मनुष्य की औसत आयु 100 वर्ष बताई गई है।
वैदिक काल की में मनुष्य की आयु 100 वर्ष होती थी और मनुष्य के जीवन काल को चार आश्रमों में विभाजित किया गया था।
ये आश्रम थे...
① ब्रह्मचर्य आश्रम
② ग्रहस्थाश्रम
② वानप्रस्थ आश्रम
② संन्यासाश्रम
मनुष्य अपने जीवन के आरंभिक 25 वर्ष ब्रह्मचर्य आश्रम के रूप में बिताता था। इसके अन्तर्गत वह शिक्षा ग्रहण करता था और सदाचार के नियमों का पालन करता था। इसके पश्चात 25 वर्ष की आयु के बाद मनुष्य का विवाह हो जाता था और वह 50 वर्ष की आयु तक ग्रहस्थ आश्रम में ग्रहस्थ जीवन का पालन करता पर था।
50 वर्ष की आयु को करने के बाद वह वन में चला जाता और अपनी जीवन के 25 वर्ष ईश्वर के ध्यान चिंतन में बिताता था।
75 वर्ष की आयु पूर्ण करने के बाद वह संन्यास आश्रम अन्तर्गत संसारिक जीवन का परित्याग करके पूर्ण रूप से ईश्वर के ध्यान चिंतन में लग जाता और मोक्ष पाने का प्रयत्न करता।
○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○○