विश्व डाक संघ की ओर से 16 वर्ष से कम आयुवर्ग के बच्चों के लिए पत्र लेखन प्रतियोगिताएँ आयोजित करने का सिलसिला सन् 1972 से शुरू किया गया। यह सही है कि खास तौर पर बड़े शहरों और महानगरों में संचार साधनों के तेज़ विकास तथा अन्य कारणों से पत्रों की आवाजाही प्रभावित हुई है पर देहाती दुनिया आज भी चिट्ठियों से ही चल रही है। फैक्स, ई-मेल, टेलीफ़ोन तथा मोबाइल ने चिट्ठियों की तेज़ी को रोका है पर व्यापारिक डाक की संख्या लगातार बढ़ रही है।
1) विश्व डाक संघ की ओर से क्या व्यवस्था की गई
a) पत्र लिखने की परंपरा
b) पत्र लेखन प्रतियोगिताएँ
c) पत्र भेजने की परंपरा
2) पत्र लेखन प्रतियोगिता कब शुरू की गई?
a) 1970 से
b) 1972 से
c) 1974 से
3) पत्रों की आवाजाही प्रभावित होने का कारण क्या है?
a) संचार के साधनों का बढ़ जाना
b) संचार के साधनों में कमी आना
c) डाकियों की कमी
4) ग्रामीण क्षेत्रों में पत्र परस्पर जुड़े हैं क्यों?
a) डाकियों की कमी
b) लोगों का पत्रों से लगाव का होना
c) संचार के साधनों का विकास न होना
5) चिट्ठियों की तेजी को किसने रोका है?
a) फैक्स
b) उपर्युक्त सभी
c) टेलीफ़ोन एवं मोबाइल
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1.Ans: b) पत्र लेखन प्रतियोगिताएँ.
2.Ans: b) 1972 से.
3.Ans: a) संचार के साधनों का बढ़ जाना.
4.Ans: c) संचार के साधनों का विकास न होना.
5.Ans: b) उपर्युक्त सभी.
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Answer:
1) भगवान के डाकिया b) पेड़ है
2)भगवान के डाकिए
3)इंसान
4)पेड़ , बादल
5)हरिशंकर परसाई
मैं आशा करती हूं कि यह तुम्हें मदद करेगा मित्र
Hope it helps you keep smiling :)
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भगवान के डाकिए
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