Hindi, asked by agrima9330, 22 days ago

'विधवा उद्धार, शुद्धि परचार तथा दलितों पर उपकार' का अभिप्राय बताइए।​

Answers

Answered by mokshsaini104
1

Answer:

आदिवासी समाज संभवतः भारतीय उप-महाद्वीप का सबसे उ‍पेक्षित समाज है. दस-बीस आदिवासियों का मारा जाना, या सैंकड़ों आदिवासियों का फर्जी मामलों में जेलों में सड़ना मुख्‍यधारा के मीडिया के लिए कोई खबर नहीं है. कोई नक्‍सल संबंधी घटना घटने पर बाहरी समाज के लोग आदिवासी इलाकों पर चलताऊ बात करते हैं और अपना मूल्‍य निर्णय भी दे देते हैं. आदिवासी कौन हैं, किन परिस्थितियों में रहते हैं, उनके क्‍या मुद्दे हैं, उनका जीवन-दर्शन क्‍या है, आदि सवालों पर कोई बात नहीं करता. बाहरी समाज ने कभी आदिवा‍सियों को निस्‍वार्थ भाव से समझने की कोशिश नहीं की.

पिछले दिनों सुप्रीम कोर्ट द्वारा लाखों आदिवासियों की बेदखली के आदेश के बाद एक बार फिर आदिवासी चर्चा में आए. इस मामले में अब सुप्रीम कोर्ट ने कुछ मोहलत दे दी है, इसलिए फिलहाल खतरा टल गया है. यह मौका है कि हम आदिवासियों से जुड़े विभिन्‍न मसलों पर बात करें. आइए, शुरूआत वन अधिकार अधिनियम से ही करते हैं.

वनों या जंगलों से आदिवासियों का बहुत गहरा रिश्‍ता है- जब से सृष्टि है तबसे. स्‍वयं आदिवासी शब्द की अवधारणा, उनकी अस्मिता और अस्तित्‍व जंगलों से परिभाषित होता है. वे स्‍वयं को जंगलों का प्राकृतिक संरक्षक मानते हैं. जंगलों, नदियों, पहाड़ों को वे अपना पुरखा और संबंधी मानते हैं. उनके गीत, कहानियों, नृत्‍यों और पूरे जीवन की हर धड़कन में जंगल है.

Explanation:

Mark me as brainliest.

Similar questions