Biology, asked by Rajatpratao8561, 1 year ago

वर्गीकरण की पद्धतियों में समय के साथ आए परिवर्तनों की व्याख्या कीजिए।

Answers

Answered by SARFRAJKHANSHAMMA
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वर्गीकरण - वर्गीकरण वह प्रक्रिया है जिसमें जीवों को उनकी समानता व असमानता के आधार पर समूहों व उपसमूहों में व्यवस्थित करते है।

पहले कृत्रिम पद्दतियों का उपयोग किया जाता था, फिर जातिव्रतीय तथा प्राकृतिक पद्दतियों को विकसित किया गया।

कृत्रिम वर्गीकरण पद्दति - इनका आधार वर्षी लक्षण या कृत्रिम लक्षणों के आधार पर किया जाता है।

प्राकृतिक वर्गीकरण - इसमें प्राकृतिक लक्षणों के आधार पर वर्गीकरण किया जाता है।

जातिव्रतीय वर्गीकरण - इसका आधार जीवों का विकास व आनुवंशिक लक्षण है।

Answered by roopa2000
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Answer:

शुक्ल और सहाय के अनुसार, "वर्गीकरण द्वारा आँकड़ों के अव्यवस्थित विशाल ढेर को एक व्यवस्थित रूप दिया जाता है ताकि भविष्य का कार्य सरल हो जाये।"

Explanation:

पृथ्वी पर पाए जाने वाले लाखों पौधों, जानवरों और सूक्ष्मजीवों की वैज्ञानिकों ने पहचान कर ली है, जबकि दुनिया भर में अभी भी कई नई प्रजातियों की खोज की जा रही है। इसलिए, इन नई खोजी गई प्रजातियों को नए लक्षणों के साथ वर्गीकृत करने के लिए, वर्गीकरण की नई प्रणालियों को समय-समय पर तैयार करना पड़ता है।

  • वर्गीकरण वह प्रक्रिया है जिसमें जीवों को उनकी समानता व असमानता के आधार पर समूहों व उपसमूहों में व्यवस्थित करते है।
  • पहले कृत्रिम पद्दतियों का उपयोग किया जाता था, फिर जातिव्रतीय तथा प्राकृतिक पद्दतियों को विकसित किया गया।
  • कृत्रिम वर्गीकरण पद्दति - इनका आधार वर्षी लक्षण या कृत्रिम लक्षणों के आधार पर किया जाता है।
  • प्राकृतिक वर्गीकरण - इसमें प्राकृतिक लक्षणों के आधार पर वर्गीकरण किया जाता है।
  • जातिव्रतीय वर्गीकरण - इसका आधार जीवों का विकास व आनुवंशिक लक्षण है।
  • परिवर्तनों के वर्गीकरण के तरीके: भौतिक परिवर्तन और रासायनिक परिवर्तन

वर्गीकरण के प्रकार:

  •  गुणात्मक वर्गीकरण
  •  सरल वर्गीकरण
  • बहुगुण वर्गीकरण

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