वर्तमान समाज मे स्वार्थ-लोलुपता किस प्रकार हमारे समाज को विकृत कर रही है ? आलोचना कीजिए ।
Class-X CBSE
Answers
वर्तमान समाज मे स्वार्थ-लोलुपता किस प्रकार हमारे समाज को विकृत कर रही है ? आलोचना कीजिए ।
वर्तमान समाज मे स्वार्थ-लोलुपता हमारे समाज को विकृत है| इसका एक उदाहरण 'हरिहर काका' कहानी है लेखक मिथिलेश्वरद्वारा द्वारा लिखी गई है | इस कहानी में बताया गया किस प्रकार हरिहर काका के परिवार वाले उनकी संपत्ति के पीछे पड़ी हुई थी| उनके भाइयों को भी संपत्ति का ही लालच था| सभी रिश्ते स्वार्थ पर टिके हुए होते है|
यह सत्य है की वर्तमान समय में रिश्ते नाते सब खत्म होते ही जार रहे है| आज के समय में रिश्ते बस स्वार्थ के कारण ही बने होते है| रिश्तों के पीछे कुछ न कुछ लालच और स्वार्थ होता है| बिना स्वार्थ के कोई किसी की मदद नहीं करता है| ऐसा लगता है जैसे इंसानियत खत्म ही होते ही रही है|
आपसी रिश्तों में प्रेम के स्थान पर लालच का बढ़ना रिश्तों के खोखलेपन को दर्शाता है। समाज में प्रेम समाप्त हो रहा है। यह बहुत दुख की बात है।
Answer:
thanks
Explanation:
.............