varn vicched of nilgai
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वर्ण-विच्छेद है।
इसके लिए हमें स्वरों की मात्राओं (स्वर चिह्न) की जानकारी होना बहुत आवश्यक हो जाता है। स्वरों की मात्राएँ इस प्रकार हैं –
स्वर
मात्रा (स्वर चिह्न)
अ
इसकी कोई मात्रा नहीं होती।
आ
ा
इ
ि
ई
ी
उ
ु
ऊ
ू
ऋ
ृ
ए
े
ऐ
ै
ओ
ो
औ
ौ
वर्ण-विच्छेद करते समय हमें स्वरों की मात्राओं को पहचानना पड़ता है और उस मात्रा के स्थान पर उस स्वर (अ, आ, इ, ई आदि) को प्रयोग में लाया जाता है जिसकी वह मात्रा होती है।
उदाहरण - निधि शब्द का मात्रा विच्छेद होगा - न् + ि + ध् + ि
निधि शब्द का वर्ण विच्छेद होगा - न् + इ + ध् + इ
कुमार शब्द का मात्रा विच्छेद करने पर - क् + ु + म् + ा + र् + अ प्राप्त होता है और जब इसी शब्द का वर्ण-विच्छेद किया जाए तो क् + उ + म् + आ + र् + अ प्राप्त होता है।
वर्ण-विच्छेद के कुछ उदाहरण
'अ' स्वर के उदाहरण
कलम = क् + अ + ल् + अ + म् + अ
कथन = क् + अ + थ् + अ + न् + अ
(यहाँ आप देख रहे हैं कि ‘अ’ स्वर व्यञ्जन में अन्तर्निहित हो जाता है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि अ स्वर का कोई स्वर चिह्न (मात्रा) नहीं होती।)
'आ' स्वर के उदाहरण
नाना = न् + आ + न् + आ
पाप = प् + आ + प् + अ
'इ' स्वर के उदाहरण
किताब = क् + ि + त् + आ + ब् + अ
दिवार = द् + ि + व् + आ + र् + अ