what is the moral of " पापा खो गए " ??
Answers
Answer:
यह एकांकी लेखक श्री विजय तेंदुलकर जी द्वारा लिखा गया है जिसमें निर्जीव वस्तुओं की पीड़ा का सजीव चित्रण किया गया है और पाठ के द्वारा बच्चों के अपहरण के बढ़ते वारदातों को दिखाया है| रात के समय सड़क पर एक बिजली का खंभा, एक पेड़, एक लैटरबॉक्स और दीवार पर नाचने की मुद्रा में खड़ी लड़की का पोस्टर है।
Explanation:
ʜᴏᴘᴇ ɪᴛ ʜᴇʟᴘꜱ ᴘʟᴇᴀꜱᴇ ᴍᴀʀᴋ ᴍᴇ ᴀꜱ ʙʀᴀɪɴʟɪᴇꜱᴛ. ᴀɴᴅ ɪꜰ ʏᴏᴜ ɢᴏᴛ ʏᴏᴜʀ ᴀɴꜱᴡᴇʀ ʟɪᴋᴇ ᴍᴇ. ᴀɴᴅ ᴘʟᴇᴀꜱᴇ ʜᴇʟᴘ ᴍᴇ ʙʏ ꜰᴏʟʟᴏᴡɪɴɢ ᴍᴇ ᴀɴᴅ ᴋɴᴏᴡ ᴍᴏʀᴇ ᴀɴꜱᴡᴇʀꜱ.ʜᴀᴠᴇ ᴀ ɴɪᴄᴇ ᴅᴀʏ
ʏᴏᴜʀꜱ ꜰʀɪᴇɴᴅʟʏ
-ᴍʀʙᴀʙʙᴜʏᴛ
Answer:
पाठ के द्वारा बच्चों के अपहरण के बढ़ते वारदातों को दिखाया है|
Explanation:
यह एकांकी लेखक श्री विजय तेंदुलकर जी द्वारा लिखा गया है जिसमें निर्जीव वस्तुओं की पीड़ा का सजीव चित्रण किया गया है और पाठ के द्वारा बच्चों के अपहरण के बढ़ते वारदातों को दिखाया है| रात के समय सड़क पर एक बिजली का खंभा, एक पेड़, एक लैटरबॉक्स और दीवार पर नाचने की मुद्रा में खड़ी लड़की का पोस्टर है।