write a story on jiski lathi uski bhes
Answers
एक भला आदमी एक बार पशु मेला देखने गया | उसे वहा एक भेंस पसंद आ गई और वो उसे खरीद कर अपने घर जा रहा था की उसे रास्ते में उसे एक बदमाश मिला | उसके हाथो में एक खूब मोठी लाठी थी | बदमाश भेंस वाले के रास्ते में लाठी पटकता हुआ खड़ा हो गया और जोर से बोला, “अरे और भेंस वाले, चुपचाप ये भेंस मुझे दे दे और तू यहाँ से नो दो ग्यारह हो जा वरना तेरी खेर नहीं |
भेंस वाला बुद्धिमान था | उसने सोचा अगर में लाठी वाले से लडू गा तो यह मेरा सिर फोड़ देगा | इसलिए उसने चुपचाप भेंस की रस्सी उसके हाथो में थमा दी और उदास होकर बोला, “भाई यह भेंस अब तुम्हारी हो गई | इसे तुम ले जा सकते हो | पर में खाली हाथ घर जाऊ गा तो अच्छा नहीं लगे गा | इसलिए तुम एक काम करो, तुम मेरी भेंस ले लो और में तुम्हारी लाठी ले लेता हु |
बदमाश सोचने लगा की अगर मेरे पास भेंस आ जाती है तो लाठी का क्या काम | और उसने अपनी लाठी भले आदमी को दे दी | लाठी आते ही भला आदमी तन कर खड़ा हो गया और बोला, “भेंस की रस्सी इधर ला वरना तेरा सिर फोड़ दुगा | लुटेरा क्या करता, वो डर गया था | जिस लाठी के दम पर उसने भेंस छिनी थी अब वह उसके पास से जा चुकी थी |
उसने चुपचाप भेंस की रस्सी उस भले आदमी के हाथो में दे दी और गिडगिडा क बोला, “अपनी भेंस संभालो और मुझको मेरी लाठी लोटा दो | भला जनता था की एक बर लाठी उसके हाथो में दे दी तो फिर से में अपनी भेंस को खो बेठुगा | इसलिए उसने कहा, केसी लाठी और कोनसी लाठी ? अरे मुर्ख, जिसकी लाठी उसकी भेंस और चुपचाप यहाँ से चला जा | और यह सुन कर बदमाश चुपचाप वहा से चला गया |