Write lines on nurse in hindi
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नर्स पर निबंध एक नर्स पृथ्वी पर एक दूत है। न केवल उसकी पोशाक भी उसके कार्यों की पेशाब की पवित्रता और निस्वार्थता के बारे में बात करती है। एक नर्स पेशेवर योग्यता और दया के साथ अपने कर्तव्य का प्रदर्शन करती है। वह मानव जाति के कष्टों के प्रति संवेदनशील है।
हमें जीवन में कभी न कभी नर्स की मदद अवश्य लेनी पड़ती हैं. चाहे वह हमारे जन्म के समय हो या बीमार होने पर अस्पताल में वही हमारी देखभाल करती हैं. नर्सिंग को हिंदी में परिचर्या कहा जाता हैं. भारत में इनका लम्बा इतिहास रहा हैं. घर में कोई बीमार हो या किसी के प्रसव के कार्य में सहयोगिनियों के बारे में पढ़ने को मिलता हैं.
सेवा को परम धर्म मानने वाली लड़कियाँ इस पेशे को चुनती हैं. माना जाता हैं रुग्ण सेवा ही सबसे बढ़कर हैं. ऐसे में यदि घर का खर्च भी चल जाए तो सोने में सुहागा ही होगा. अंग्रेजी के शब्द नर्स का आशय होता है पोषण, अर्थात वह महिला जो नवजात शिशु का पोषण करती हैं वह नर्स कहलाती हैं. नन्हे जन्मे बच्चों एवं मरीजों की सेवा एवं देखभाल इनका परम कर्तव्य होता हैं.
आधुनिक नर्स की अवधारणा की जनक फ्लोरेंस नाइटिंगेल को माना जाता हैं. 34 वर्षीय महिला का सम्बद्ध एक समृद्ध परिवार से था, जिन्हें पीड़ितों की सेवा में परम सुख की अनुभूति होती थी, अतः उन्होंने क्रीमिया युद्ध के दौरान 38 अन्य नर्सों के साथ एक परिचर्या भवन खोलकर पीड़ितों की सेवा करने लगी. 1860 के दशक में ब्रिटेन में नाइटिंगेल से प्रेरित होकर परिचर्या की पाठशालाएं खुली और वर्तमान में यह एक स्वतंत्र पेशे का रूप ले चुकी है जिन्हें हम नर्सिंग कहते हैं.
एक नर्स में मानवता, दया, सहानुभूति तथा आत्मीयता के भाव होते हैं. वह सभी प्रकार के रोगियों की देखभाल करती हैं, कई बार ईलाज के दौरान डॉक्टर की मदद करती हैं. वह वार्ड में बिस्तर पर लेटे सभी मरीजों को चिकित्सक के बताएं अनुसार दवाएं देती है. उनकों समय पर खाना, पानी एवं स्वच्छता का ख्याल करती हैं.
सरकारी अथवा निजी अस्पतालों, नर्सिंग होम, अनाथाश्रम, वृद्धाश्रम, आरोग्य निवास, विभिन्न अन्य उद्योगों एवं रक्षा सेवाओं इन स्थानों पर आप नर्सों को सेवा देते देख सकते हैं. मानवता की सेवा को अपने जीवन का उद्देश्य मानने वाले जो दीन दुखियों की सेवा में संतोष पाते है तथा निरंतर कार्य करने की क्षमता रखते है वे नर्सिंग के क्षेत्र को करियर के रूप में चुन सकते हैं.
नर्सिंग करने के लिए दसवीं के बाद एएनएम के कोर्स के लिए आवेदन किया जा सकता हैं अथवा बाहरवीं पास करने के बाद जीएनएम कोर्स करके भी नर्स बना जा सकता हैं. सामान्य तौर पर इसके कोर्स के लिए खर्च 50 हजार से एक लाख तक फीस अदायगी होती हैं. नर्सों का वेतनमान 7 हजार से आरंभ होकर 72 हजार तक होता हैं. इसमें नर्स के पद, अनुभव, योग्यता को आधार बनाकर ही वेतनमान निर्धारित किया जाता हैं.
चूँकि एक चिकित्सालय में बहुत से लोग होते है इस कारण मरीज अपनी मदद के लिए नर्स को किस प्रकार ढूंढे इसके लिए एक ड्रेस/ वर्दी निर्धारित की जाती हैं. प्रत्येक नर्स को यह वर्दी पहननी होती है आमतौर पर सफेद फ्रांक, सफेद टोपी, एप्रन एवं सफेद मोज़े व जूते के रूप में इनकी वेशभूषा होती हैं. इनके हाथ की कलाई में एक घड़ी अवश्य बँधी होती हैं. भारत में नर्से अब साड़ी पहनना अधिक पसंद करती है जो सफेद रंग की होती हैं.
साधारनतया लोग मानते है की नर्स के क्षेत्र केवल महिलाओं के लिए हैं, असल में ऐसा नहीं है यह पुरुष व महिला दोनों के लिए खुला करियर अवसर हैं. फिर भी अधिक संख्या में महिलाएं ही इस पेशे को चुनती हैं. वे अपेक्षाकृत अधिक संवेदनशील एवं सह्रदय होती हैं. अगर आप भी रोगियों की सेवा करना चाहते है तो आप पुरुष है या महिला यह मायने नहीं रखता हैं आप नर्सिग प्रवेश परीक्षा देकर डिप्लोमा, अंडर ग्रेजुएट एवं सर्टिफिकेट प्राप्त कर एक अच्छे/अच्छी नर्स बन सकते हैं.