Hindi, asked by sapnagoel06, 9 months ago

write poems on samay amulya dhan h​

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Answered by Anonymous
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समय की धारा बहती जाए

नहीं लेती कभी वह विराम

समय पे जो सबकुछ करे

उसे मिले आराम ही आराम

समय के आगे झुक जाते है

जितने बड़े वह महान

समय से बड़ा कुछ भी नही

वही है सबसे बलवान

समय चक्र से पीस जाते है

राजा हो या कोई फकीर

समय पे करवट लेते है

जो लिखी हुई भाग्य की लकीर

समय ही दुखद चुभन है

फिर वही तो सुख और चैन

समय ही मृत्यु और काल है

फिर वही मैत्री और अमन

समय के साथ चलना सीखे

जीवन ही हो जाएगा आसान

समय का सदुपयोग करे

बने एक अच्छा सा इंसान

Explanation:

follow me...and mark as brainliest

Answered by 3598810006532
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समय की धारा बहती जाए

नहीं लेती कभी वह विराम

समय पे जो सबकुछ करे

उसे मिले आराम ही आराम

समय के आगे झुक जाते है

जितने बड़े वह महान

समय से बड़ा कुछ भी नही

वही है सबसे बलवान

समय चक्र से पीस जाते है

राजा हो या कोई फकीर

समय पे करवट लेते है

जो लिखी हुई भाग्य की लकीर

समय ही दुखद चुभन है

फिर वही तो सुख और चैन

समय ही मृत्यु और काल है

फिर वही मैत्री और अमन

समय के साथ चलना सीखे

जीवन ही हो जाएगा आसान

समय का सदुपयोग करे

बने एक अच्छा सा इंसान

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