02 रचना के आधार पर वाक्य के प्रकार 1pc
लिखो!/. (1) कभी हरा भरा पेड़ मत काटो
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Explanation:
1) विधानवाचक वाक्य (Affirmative sentence )
जिस वाक्य से क्रिया करने या होने का बोध हो , उसे विधानवाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- रमा खेल रही है।
2) निषेधवाचक वाक्य (Negative sentence)
जिस वाक्य में क्रिया न करने या न होने का बोध हो , उसे निषेधवाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- बाहर जाना मना है।
3) प्रश्नवाचक वाक्य (Interrogative sentence)
जिस वाक्य में प्रश्न का बोध हो , उसे प्रश्नवाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- तुम क्या कर रहे हो ?
4) संदेहवाचक वाक्य (Skeptical sentence)
जिस वाक्य में संदेह या संभावना का बोध हो , उसे संदेहवाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- शायद आज बारिश होगी।
5) संकेतवाचक वाक्य (Indicative sentence)
जिस वाक्य में एक क्रिया दूसरी क्रिया पर निर्भर होने का संकेत हो , उसे संकेतवाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- यदि बारिश होती तो पानी की कमी न होती।
6) इच्छावाचक वाक्य (Optative sentence )
जिस वाक्य में इच्छा , शुभकामना , आशीर्वाद , आशा आदि के भाव प्रकट हों , उसे इच्छावाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- मुझे आज बाहर जाने का मन हो रहा है। (इच्छा-wish का भाव )
आप अच्छे अंको से पास हो। (शुभकामना-greetings का भाव )
सदा कल्याण हो। (आशीर्वाद-blessings का भाव )
अच्छे के लिए आशा ! (आशा-hope का भाव )
7) आज्ञावाचक वाक्य (Imperative sentence)
जिस वाक्य में आज्ञा , उपदेश , आदेश , अनुमति या प्रार्थना आदि के भाव प्रकट हो , उसे आज्ञावाचक वाक्य कहते है।
जैसे :- तुम बाहर जाओ। (आज्ञा-order का भाव )
निरंतर कोशिश करने वाले कभी हारते नहीं। (उपदेश-advice का भाव )
तुम खेलने के लिए बाहर जा सकते हो। (अनुमति-permission का भाव )
हे प्रभु ! मेरा विश्वास कमज़ोर न हो। (प्रार्थना-prayer का भाव)
8) विस्मयादिवाचक वाक्य (Exclamatory sentence)
जिस वाक्य में विस्मय , हर्ष , क्रोध , घृणा आदि के भाव प्रकट हों , उसे विस्मयादिबोधक वाक्य कहते है।
जैसे :- अरे ! तुम कितनी सुंदर लग रही हो। (विस्मय-amazement का भाव )
धन्य – धन्य ! तुम पहले नंबर से पास हो गए। (हर्ष-happiness का भाव )
बस करो ! तुम्हें कुछ समज में नहीं आता ? (क्रोध-anger का भाव )
छिः ! कितना गंदा पानी है। (घृणा-hate का भाव )
Explanation:
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