1. कवयित्री ने जीवन में हँसने को क्यों महत्व दिया है? 2. आपको यह संसार कैसा लगता है? 3. अपने जीवन को खुशहाल कैसे बनाया जा सकता है? कवयित्री ने जीवन का साथी किसे बताया है और क्यों? 4.
Answers
1. कवयित्री ने जीवन में हँसने को क्यों महत्व दिया है?
➲ कवयित्री ने मानव जीवन में हँसने को महत्व इसलिये दिया है, क्योंकि जीवन की बाधाओं को हँसते हुए सहने से बाधाओं को तीव्रता कम हो जाती है। हर समय हँसते रहने से जीवन सुखमय बनता है। कवयित्री ने हँसने के अपने जीवन का मूलमंत्र बनाकर सुखमय बना लिया है।
2. आपको यह संसार कैसा लगता है?
➲ हमें ये संसार सुखदायी लगता है क्योंकि हमने निराश न होकर आशावान होकर जीवन बिताने को अपना मूलमंत्र बना लिया है।
3. अपने जीवन को खुशहाल कैसे बनाया जा सकता है? कवयित्री ने जीवन का साथी किसे बताया है और क्यों?
➲ अपने जीवन को खुशहाल बनाने के लिए सदा हँसते रहना चाहिए तथा प्यार, विश्वास, साहस, दया, विनम्रता आदि गुणों से जीवन की हर बाधा और कष्टों का सामना करना चाहिए तथा अपने जीवन के प्रति आशावान रहना चाहिए, जिससे जीवन खुशहाल बनता है। कवयित्री ने जीवन का सच्चा साथी आशा को बताया है, जो मानव दुखों की परवाह ना करते सुख की आशा में जीवन बिताता है, वह आशा ही उसका सच्चा साथी होती है, क्योंकि उस आशा के सारे उसका जीवन सुखपूर्वक गुजर जाता है।
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