1. 'मैया मोहिं दाऊ बहुत खिझायौ' पद में कौन किसकी शिकायत कर रहा है?
2. श्री कृष्ण किससे शिकायत कर रहे हैं और क्या शिकायत कर रहे हैं?
3. बलराम कृष्ण को मोल का लिया होने का क्या तर्क देते हैं?
4. श्री कृष्ण को बलराम, गोप-ग्वाले और माँ की कौन-कौन सी बातें बच्छी नहीं लगी और क्यों?
5. श्री कृष्ण को समझाते हुए यशोदा बलराम के बारे में क्या कहती हैं?
6. बिना विचारे कार्य करने से कौन-सी हानि होती है?
Please Help It's Very Important...
Answers
Explanation:
1- श्री कृष्ण जी अपने माता से
2- कृष्ण जी अपनी माता से बलदाऊ की शिकायत कर रहे हैं और कह रहे हैं कि मैया तू मुझको ही मारती है और तू कभी भी बलदाऊ कुछ नहीं कहती है।
3- बलराम कृष्ण को मोल लिया होने का तर्क देते हैं. गोरे नंद यशोदा गोरी तू कत स्यामल गात ।
बलराम श्रीकृष्ण को मोल लिया होने का यह तर्क देते हैं कि नंद बाबा और मैया यशोदा दोनों ही गौर वर्ण के हैं किंतु श्रीकृष्ण तो श्याम वर्ण के हैं। अत: वह उनके पुत्र कैसे हो सकते हैं। यानी अवश्य ही नंद बाबा और मैया यशोदा ने श्रीकृष्ण को कहीं से मोल देकर खरीदा है।
4- कृष्णा को बलराम और गोप-ग्वाले मिलकर चिरदते थे । माता यशोदा बलराम को कभी पिटती नही थी इसलिये श्री कृष्णा माता यशोदा की यह बैट अच्छी नही लगते थी ।
5- यशोदा कृष्ण से कहती है कि बलराम जन्म से ही चुगलखोर है। मैं गोमाता की सौगंध खाकर कहती हूँ कि मैं ही तुम्हारी माता हूँ और तू ही मेरा पुत्र है। इस प्रकार कृष्ण को सांत्वना देती है।
6-
बिना विचार किए कार्य करने से बाद में पछताना होता है