1. निम्नलिखित गद्यांश को ध्यानपूर्वक पढ़कर पूछे गये प्रश्नों के उत्तर दीजिए-
"मियाँ नसीरुद्दीन ने आँखों के कंचे हम पर फेंक दिए। फिर तररेकर बोल- क्या मतलब है?
पूछिए साहब- नानबाई इल्म लेने कहीं और जाएगा? क्या नगीनासाज़ के पास? क्या आईनास के
पास ? क्या मीना साज के पास ? या रफूगर, रंगरेज या तेली-तंबोली से सीखने जाएगा? क्या
फरमा दिया साहब यह तो हमारा खानदानी पेशा ठहरा। हाँ, इल्म की बात पूछिए तो जो कुछ भी
सीखा, अपने वालिद उस्ताद से ही। मतलब यह कि हम घर से न निकले कि कोई पेशा आख्तियार
करेंगे। जो बाप-दादा का हुनर था वही उनसे पाया और वालिद मरइम के उठ जाने पर आ बैठे
उन्हीं के ठीये पर।
(क) नसीरुद्दीन के खानदान का पेशा क्या था? उसने अपनी आजीविका के लिए कौन-सा धंधा
अपनाया?
(अंक 2)
(ख) नसीरुद्दीन ने नानबाई का धधा किससे सीखा?
(अक 2)
(ग) उक्त गद्यान के आधार पर कुछ खानदानी धंधों के नाम गिनाइये।
(अक 2)
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hh77 pub giungugn8 has took 6AM for the 6666th 66666th and i think the video has 7AM to do it but the whole story of this in the way is that it was just a bit too late to get a little more of the attention and I think the
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yogdan ke Aadhar per kuchh khandani dhandha ke naam gaini hai
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