"आ रही रवि की सवारी" कविता की प्रथम12 पंक्तियां कवि के नाम के साथ लिखि निम्नलिखित प्रश्रों के संक्षिप्त उत्तर लिखिए : क) सोने की जंजीर में बंधा पक्षी सपने में क्या देख रहा हैं और क्यो? ख) डॉ राजेंद्र प्रसाद किसानों के हितैषी थे स्पष्ट कीजिए। ग) जो रात का राजा है वह भिखारी क्यों बन गया ? घ) “रवि की सवारी" का क्या अर्थ है? ङ) डॉ राजेंद्र प्रसाद के जीवन चरित्र का वर्णन करें। च) “हम पंछी उन्मुक्त गगन के" कविता में कवि क्या संदेश देना चाहते हैं ? छ) डॉ राजेंद्र प्रसाद का परिचय तथा उनकी शिक्षा के बारे में बताइए। आशय स्पष्ट कीजिए :-
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उत्तर – कवि घोर निराशा से उबरता है तो उसके नये जीवन की शुरुआत होती है । जैसे सुबह का सूर्य अपने दल – बल के साथ पृथ्वी पर पड़ा अंधेरा छौटते हुए नया जीवन देता है उसी प्रकार कवि के जीवन में भी नये आशा का संचार होता है । यहीं ' आ रही रवि की सवारी ' कविता का केन्द्रीय भाव है ।
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i dont anderstand plss speacking english
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