Hindi, asked by aggarawald143, 9 months ago

anuched on भारत के गाँव

Answers

Answered by ranyodhmour892
5

Answer:

भारत गाँवों का देश है। भारत की अधिकतम जनता गाँवों में निवास करती हैं। महात्मा गाँधी कहते थे कि वास्तविक भारत का दर्शन गाँवों में ही सम्भव है जहाँ भारत की आत्मा बसी हुई है।

essay on bharat ke gaon in hindiआज हममें से कितने लोगों ने गाँव देखे हैं? गाँव जिन्हें भगवान ने बनाया, जहाँ प्रकृति का सौन्दर्य बिखरा पड़ा है- हरे भरे खेत, कल कल करती नदियाँ, कुँयें की रहट पर सजी धजी औरतों की खिलखिलाहट, हुक्का पीते किसान, गाय के पीछे दौड़ते बच्चे, पेड़ों से आम तोड़कर खट्टे आम खाती किशोरियाँ, तितलियाँ पकड़ते किशोरन बाजरा और मक्की की रोटी, दूध दही, मक्खन और घी की बहुलता यह सब कल्पना में आता है जब हम गाँव की बात करते हैं।

भारत के गाँव उन्नत और समृद्ध थे। ग्रामीण कृषक कृषि पर गर्व अनुभव करते थे, संतुष्ट थे। गाँवों में कुटीर उद्योग फलते फूलते थे। लोग सुखी थे। भारत के गाँवों में स्वर्ग बसता था। किन्तु समय बीतने के साथ नगरों का विकास होता गया और गाँव पिछड़ते गये।

भारत के गाँवों की दशा अब दयनीय है। इसका मुख्य कारण अशिक्षा है। अशिक्षित होने के कारण ग्रामीण अत्यधिक आस्तिक, रूढ़िवादी और पौराणिक विचारधारा के हैं। गाँवों में साहूकारों, जमींदारों और व्यापारियों का अनावश्यक दबदबा है। किसान प्रकृति पर निर्भर करते हैं और सदैव सूखा तथा बाढ़ की चपेट में आकर नुकसान उठाते हैं। कर्जों में फंसे, तंगी में जीते, छोटे छोटे झगड़ों को निपटाने के लिए कचहरी के चक्कर लगाते हुए ये अपना जीवन बिता देते हैं।

गाँव में कृषि कार्य पर पूरी तरह निर्भरता अब पूरे परिवार की जरूरतों को पूरा नहीं कर पाती। जनसंख्या के निरंतर विकास से खेत छोटे छोटे हो रहे हैं। अतः कृषि के आधुनिक साधन प्रयोग नहीं हो पाते। संक्षेप में गाँववासी अब नगरों की चकाचौंध से प्रभावित हैं। युवा अब गाँव में नहीं रहना चाहता। वह शिक्षा, नौकरी और सुख सुविधाओं का पीछा करते हुए नगर पहुँचता है।

सरकार गाँवों के विकास के लिये प्रयत्न कर रही है। गाँवों में बिजली, पानी, शिक्षा और इलाज के लिए सभी सुविधायें जुटा रही है। बैंक इत्यादि गाँवों की उन्नति में अपना पूर्ण सहयोग दे रही हैं।

Answered by shrutisharma4567
3

Explanation:

भारत गाँवों का देश है। भारत की अधिकतम जनता गाँवों में निवास करती हैं। महात्मा गाँधी कहते थे कि वास्तविक भारत का दर्शन गाँवों में ही सम्भव है जहाँ भारत की आत्मा बसी हुई है।आज हममें से कितने लोगों ने गाँव देखे हैं? गाँव जिन्हें भगवान ने बनाया, जहाँ प्रकृति का सौन्दर्य बिखरा पड़ा है- हरे भरे खेत, कल कल करती नदियाँ, कुँयें की रहट पर सजी धजी औरतों की खिलखिलाहट, हुक्का पीते किसान, गाय के पीछे दौड़ते बच्चे, पेड़ों से आम तोड़कर खट्टे आम खाती किशोरियाँ, तितलियाँ पकड़ते किशोरन बाजरा और मक्की की रोटी, दूध दही, मक्खन और घी की बहुलता यह सब कल्पना में आता है जब हम गाँव की बात करते हैं।भारत के गाँवों की दशा अब दयनीय है। इसका मुख्य कारण अशिक्षा है। अशिक्षित होने के कारण ग्रामीण अत्यधिक आस्तिक, रूढ़िवादी और पौराणिक विचारधारा के हैं। गाँवों में साहूकारों, जमींदारों और व्यापारियों का अनावश्यक दबदबा है। किसान प्रकृति पर निर्भर करते हैं और सदैव सूखा तथा बाढ़ की चपेट में आकर नुकसान उठाते हैं। कर्जों में फंसे, तंगी में जीते, छोटे छोटे झगड़ों को निपटाने केगाँव में कृषि कार्य पर पूरी तरह निर्भरता अब पूरे परिवार की जरूरतों को पूरा नहीं कर पाती। जनसंख्या के निरंतर विकास से खेत छोटे छोटे हो रहे हैं। अतः कृषि के आधुनिक साधन प्रयोग नहीं हो पाते। संक्षेप में गाँववासी अब नगरों की चकाचौंध से प्रभावित हैं। युवा अब गाँव में नहीं रहना चाहता। वह शिक्षा, नौकरी और सुख सुविधाओं का पीछा करते हुए नगर पहुँचता है।

सरकार गाँवों के विकास के लिये प्रयत्न कर रही है। गाँवों में बिजली, पानी, शिक्षा और इलाज के लिए सभी सुविधायें जुटा रही है। बैंक इत्यादि गाँवों की उन्नति में अपना पूर्ण सहयोग दे रही हैं। लिए कचहरी के चक्कर लगाते हुए ये अपना जीवन बिता देते हैं।

Hope it helps you! plz mark it as BRAINLIEST!!!

Similar questions