History, asked by piyushkumar636363, 10 months ago

Ashok dham se aap kya samajhte hain​

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Answered by misaki84
2

Answer:

hello I cannot understand the question

Answered by bhatiamona
9

Answer:

‘अशोक के धम्म’ से तात्पर्य अशोक की नैतिक संहिता से है। मौर्य साम्राज्य के चक्रवर्ती सम्राट अशोक ने बौद्ध धर्म को अपनाने के बाद अनेक अभिलेखों का निर्माण करवाया और अभिलेखों के माध्यम से अशोक ने नैतिक शिक्षाओं का प्रचार प्रसार किया। जिन्हें ‘अशोक का धम्म’ कहा गया।

‘अशोक का धम्म’ वस्तुतः एक नैतिक संहिता थी, इस नैतिक संहिता का उद्देश्य लोगों में प्रेम भाव उत्पन्न करना, नैतिक नियमों का पालन करवाना, शांति स्थापित करना तथा अपने सामाजिक उत्तरदायित्व की भावना को जगाना था।

धम्म के अनुसार साधुता अर्थात सज्जनता का व्यवहार करना, परोपकार और कल्याणकारी कार्य करना, पाप ना करना, दूसरों से सदैव मीठी मीठी वाणी में बात करना और दूसरों के साथ प्रेम भरा मधुर व्यवहार करना, निरंतर दान कर्म करते रहना, जीवो पर दया करना, प्राणियों का वध न करना, जीव हिंसा ना करना, माता पिता तथा अपने बड़ों की आज्ञा मानना, अपने गुरुजनों के प्रति आदर का भाव रखना, मित्र-परिचितों, संबंधियों, ब्राह्मणों एवं श्रवणों के प्रति उचित व्यवहार करना, अपने दास और भृत्यों के प्रति भी उचित व्यवहार करना आदि शिक्षाएं समाहित है।

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