Hindi, asked by NAMANBOOS, 2 months ago

बूंद की यात्रा tell me some lines​

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Answered by xXItzPrernaXx
3

Answer:

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Explanation:

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,नाम उसको वर्षारानी का मिला।

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,नाम उसको वर्षारानी का मिला।समय जब हुआ धरा से मिलन का,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,नाम उसको वर्षारानी का मिला।समय जब हुआ धरा से मिलन का,पेड़-पौधे बड़े प्रफुल्लित हुए,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,नाम उसको वर्षारानी का मिला।समय जब हुआ धरा से मिलन का,पेड़-पौधे बड़े प्रफुल्लित हुए,वृक्ष की शाखाओं ने हिलते हुए,

छोड़कर स्वयं का घर वह एक बूँद,निकलकर फिर बादलों की गोद से,इस धरा की ओर अब वह चल पड़ी।राह में चलते मिली कुछ और बूँद,जो उसके ही समान गयी थी निकल,फिर सभी में दोस्ती ऐसी हुई,साथ मिलकर यात्रा हुई शुरू।देखते ही देखते वहाँ बन गया,असंख्य बूंदों का एक कारवां,साथ मिलकर बूंदें जब चलने लगीं,नाम उसको वर्षारानी का मिला।समय जब हुआ धरा से मिलन का,पेड़-पौधे बड़े प्रफुल्लित हुए,वृक्ष की शाखाओं ने हिलते हुए,वर्षारानी का धरा में स्वागत किया।

Answered by parthkaushik792001
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zorry for no resoobd

Explanation:

hope you understands the answer of

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