Hindi, asked by jaivardhansinghv, 9 months ago

essay on mera priya shikshak​

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Answered by uniqueboypaul
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मेरी प्रिय अध्यापिका का नाम रजनी सिंह है। वह मेरी कक्षा अध्यापक भी है और हर सुबह हमारी उपस्थिति दर्ज करती है। वह बहुत ही सख्त अध्यापिका है हालांकि, वह स्वभाव में बहुत ही मजाकिया और देखभाल करने वाली अध्यापिका है। वह बहुत ही अनुशासित और समय की पाबंद महिला है। वह कक्षा से संबंधित सभी कार्य और प्रोजेक्टों को देरी किए बिना सही समय पर करती है। मैं उन्हें बहुत अधिक पसंद करती हूँ क्योंकि, वह हमें पढ़ाने और अच्छी चीजों को सिखाने के लिए बहुत ही आसान तरीका प्रयोग करती है। हम कक्षा में उनकी उपस्थिति का आनंद लेते हैं।

वह हमें हिन्दी पढ़ाती है। वह हमें पढ़ाते समय कुछ मनोरंजक बातों को बताकर पढ़ाई को रुचिपूर्ण बनाती है। वह हमें किसी भी कक्षा प्रतियोगिता या आन्तरिक स्कूल प्रतियोगिता के दौरान बहुत अच्छे से दिशा निर्देशित करती है। वह हमें कक्षा में अपने सहपाठियों के बीच में चीजों को मिलजुल कर बाँटने की सलाह देती हैं।

Answered by Anonymous
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Answer:

अध्यापक हमारे जीवन में वह व्यक्ति होता है, जो हमें अच्छी शिक्षा के साथ बहुत सी अन्य महत्वपूर्ण चीजों को सिखाता है। एक अध्यापक अपने विद्यार्थियों के लिए बहुत अधिक मायने रखता है। वह हमारे जीवन में विकास की प्रारम्भिक अवस्था से हमारे परिपक्व होने तक बहुत अधिक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। वह हमें और हमारे भविष्य को देश के जिम्मेदार नागरिक बनाने की ओर मोड़ देते हैं।

मेरे प्रिय अध्यापक पर निबंध 1 (100 शब्द)

मेरी प्रिय अध्यापिका का नाम रजनी सिंह है। वह मेरी कक्षा अध्यापक भी है और हर सुबह हमारी उपस्थिति दर्ज करती है। वह बहुत ही सख्त अध्यापिका है हालांकि, वह स्वभाव में बहुत ही मजाकिया और देखभाल करने वाली अध्यापिका है। वह बहुत ही अनुशासित और समय की पाबंद महिला है। वह कक्षा से संबंधित सभी कार्य और प्रोजेक्टों को देरी किए बिना सही समय पर करती है। मैं उन्हें बहुत अधिक पसंद करती हूँ क्योंकि, वह हमें पढ़ाने और अच्छी चीजों को सिखाने के लिए बहुत ही आसान तरीका प्रयोग करती है। हम कक्षा में उनकी उपस्थिति का आनंद लेते हैं।

वह हमें हिन्दी पढ़ाती है। वह हमें पढ़ाते समय कुछ मनोरंजक बातों को बताकर पढ़ाई को रुचिपूर्ण बनाती है। वह हमें किसी भी कक्षा प्रतियोगिता या आन्तरिक स्कूल प्रतियोगिता के दौरान बहुत अच्छे से दिशा निर्देशित करती है। वह हमें कक्षा में अपने सहपाठियों के बीच में चीजों को मिलजुल कर बाँटने की सलाह देती हैं।

मेरे प्रिय अध्यापक पर निबंध 2 (150 शब्द)

मेरी कक्षा अध्यापिक ही मेरी प्रिय अध्यापक है। उनका नाम निशा गुप्ता है। वह हमारी उपस्थिति दर्ज करती है और हमें हिन्दी, गणित और कला पढ़ाती है। वह बहुत अधिक शिक्षित है और उन्होंने अपनी उच्च शिक्षा बनारस हिन्दू विश्वविद्यालय से प्राप्त की है। वह हमें सभी विषयों को पढ़ाने के दौरान बहुत ही आसान और प्रभावी रणनीतियों का पालन करती है। मैं कभी भी उनकी कक्षा को छोड़ता नहीं हूँ और उनकी कक्षा में हमेशा उपस्थित रहता हूँ। मैं उनके पढ़ाने के तरीके को बहुत अधिक पसंद करता हूँ, क्योंकि उनके पढ़ाने के बाद हमें उस विषय को घर पर दुबारा पढ़ने की आवश्यकता नहीं रहती है। वह कक्षा में हमें जिस विषय को समझाती है, उससे संबंधित सभी बिन्दुओं को स्पष्ट करती है। वह कक्षा में विषय की अवधारणा को स्पष्ट करने के बाद, हमें कक्षा में उस विषय से संबंधित अभ्यास कार्य और घर के लिए गृह कार्य देती है। अगले दिन, वह कल के विषय से संबंधित प्रश्न करती है और उसके बाद अन्य विषय को शुरु करती है।

विषयों के अतिरिक्त, वह हमारा चरित्र मजबूत बनाने के लिए अच्छी नैतिकता वाले आचरण को सिखाती है। शायद; अगले साल वह हमारी कक्षा अध्यापक नहीं बने हालांकि, उनकी दी गई शिक्षाएं हमेशा मेरे साथ रहेंगी और कठिन समय में हमें सही रास्ता दिखाएगी। वह स्वभाव से बहुत अधिक प्यार करने वाली और नम्र है। वह उच्च शिक्षा के दौरान विश्वविद्यालय में स्वर्ण पदक विजेता रही थी। वह हमेशा मेरी सबसे अच्छी अध्यापिका रहेंगी।

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