एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाला दल कहां से और कैसे काठमांडू के लिए चल पड़ा था? *
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दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले विदेशी पर्वतारोही ऑक्सीजन सिलेंडर की चोरी से चिंतित हैं.
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले विदेशी पर्वतारोही ऑक्सीजन सिलेंडर की चोरी से चिंतित हैं.उनका कहना है कि इस कारण पर्वतारोहियों की जान का ख़तरा हो सकता है क्योंकि पहाड़ पर चढ़ाई करने और फिर चोटी से वापस लौटने के लिए वो सीमित संख्या में ऑक्सीजन सिलेंडर साथ ले कर जाते हैं. उनके पास ख़राब मौसम और देर हो जाने पर रुकने के लिए अतिरिक्त सिलेंडर नहीं होते.
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले विदेशी पर्वतारोही ऑक्सीजन सिलेंडर की चोरी से चिंतित हैं.उनका कहना है कि इस कारण पर्वतारोहियों की जान का ख़तरा हो सकता है क्योंकि पहाड़ पर चढ़ाई करने और फिर चोटी से वापस लौटने के लिए वो सीमित संख्या में ऑक्सीजन सिलेंडर साथ ले कर जाते हैं. उनके पास ख़राब मौसम और देर हो जाने पर रुकने के लिए अतिरिक्त सिलेंडर नहीं होते.पर्वतारोहियों की चिंता एक घटना के बाद अधिक बढ़ गई हैं जिसमें एक दल को चोटी पर चढ़ाई करने के लिए मौसम से साफ़ होने का इंतज़ार करना पड़ा.
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले विदेशी पर्वतारोही ऑक्सीजन सिलेंडर की चोरी से चिंतित हैं.उनका कहना है कि इस कारण पर्वतारोहियों की जान का ख़तरा हो सकता है क्योंकि पहाड़ पर चढ़ाई करने और फिर चोटी से वापस लौटने के लिए वो सीमित संख्या में ऑक्सीजन सिलेंडर साथ ले कर जाते हैं. उनके पास ख़राब मौसम और देर हो जाने पर रुकने के लिए अतिरिक्त सिलेंडर नहीं होते.पर्वतारोहियों की चिंता एक घटना के बाद अधिक बढ़ गई हैं जिसमें एक दल को चोटी पर चढ़ाई करने के लिए मौसम से साफ़ होने का इंतज़ार करना पड़ा.विशेषज्ञों का कहना है कि काफी संख्या में पर्वतारोही आ रहे हैं जिनमें अनुभवहीन लोग भी हैं और अयोग्य गाइड हैं, जिनके कारण भी स्थिति खराब हो रही है.
दुनिया की सबसे ऊंची चोटी माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई करने वाले विदेशी पर्वतारोही ऑक्सीजन सिलेंडर की चोरी से चिंतित हैं.उनका कहना है कि इस कारण पर्वतारोहियों की जान का ख़तरा हो सकता है क्योंकि पहाड़ पर चढ़ाई करने और फिर चोटी से वापस लौटने के लिए वो सीमित संख्या में ऑक्सीजन सिलेंडर साथ ले कर जाते हैं. उनके पास ख़राब मौसम और देर हो जाने पर रुकने के लिए अतिरिक्त सिलेंडर नहीं होते.पर्वतारोहियों की चिंता एक घटना के बाद अधिक बढ़ गई हैं जिसमें एक दल को चोटी पर चढ़ाई करने के लिए मौसम से साफ़ होने का इंतज़ार करना पड़ा.विशेषज्ञों का कहना है कि काफी संख्या में पर्वतारोही आ रहे हैं जिनमें अनुभवहीन लोग भी हैं और अयोग्य गाइड हैं, जिनके कारण भी स्थिति खराब हो रही है.माउंट एवरेस्ट चढ़ने की कोशिश में 'स्विस मशीन' की मौत
वो कहते हैं, "मैंने कई अभियान दलों से सुना कि उनके ऑक्सीजन सिलेंडर ग़ायब हो जाते हैं और ये उनकी जान के लिए ख़तरा हो सकता है. ख़ास कर तब जब वो चढ़ाई करते समय ही कुछ ऑक्सीजन का इस्तेमाल कर चुके हों और चोटी पर पहुंचे भी ना हों. ऐसे में वो बचे हुए सिलेंडर का वापसी के समय इस्तेमाल करने की योजना बनाते हैं."
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