Geography, asked by sunilfusogktjkgjcjvh, 2 months ago

ग्रामीण दस्कार कोंन है


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Answered by harshithapalat11
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ग्रामीण शिल्प और दस्तकारी को बढ़ावा देने के उद्देश्य से नाबार्ड ने सूरजकुंड इंटरनैशनल क्रॉफ्ट हस्तशिल्प मेले में 50 स्टॉल प्रायोजित किए हैं। जहां देश के 26 राज्यों से आए 115 ग्रामीण कारीगर और शिल्पकारों को हिस्सा लेने का अवसर दिया गया है। नाबार्ड की ओर से प्रायोजित 50 स्टॉलों में स्तरीय शिल्प सामग्री तथा आकर्षण और अनूठी कला वस्तुएं मेलाप्रमियों के लिए खास जगह बना रही है। इन स्टॉलों पर हैंडलूम, लकड़ी की पेटिंग, लकड़ी के खिलौने, पीतल और तांबे का सामान, ऊन और पशमीना के गरम परिधान, चूड़ियां, सिल्क सदियां, कढ़ाई परिधान, केन और बांस के उत्पाद, फुलकारी, जूलरी, जूट बैग व अन्य विभिन्न प्रकार के सजावटी सामान उपलब्ध है। इन स्टॉलों पर भाग लेने वाले 50 ग्रामीण शिल्पकारों और स्वयं सहायता समूहों के सदस्यों को मार्केटिंग से जुड़े विभिन्न पहलुओं को लेकर सूरजकुंड मेला में उन्हें प्रशिक्षण दिया जा रहा है। राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक (नाबार्ड) के प्रबंधक विनय त्रिपाठी ने बताया कि देश के ग्रामीण कारीगरों, शिल्पकारों और उद्यमियों के लिए इंटरनैशनल स्तर का यह मंच सुलभ हो सके। देश के ग्रामीण उद्यमियों और कारीगरों को विपणन मार्केटिंग का अवसर मुहैया कराने के उद्देश्य से नाबार्ड पिछले 10 सालों से सूरजकुंड मेले में हिस्सा ले रहा है।

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