घ- श्रीकृष्ण दवारा गीता का उपदेश दिया गया।
(कर्तृवाच्य में
1-रेखांकित पदों के पद का परिचय का सही विकल्प चुनकर लिखिए-
क- छोटे बच्चे ने एक लीटर दूध पी लिया।
- ज्यादा सोचेंगे तो परेशान होंगे।
ग- नदी के पार जंगल है।
घ- वह एक दुर्लभ रत्न है।
2-क-निम्नलिखित काव्यांश को पढ़कर उनमें निहित रस पहचानकर लिखिए
उस काल मारेकोष के तनु का अपने उनका लगा।
मानो हवा के वेग से, सोता हुआ सागर जगा।
स-श्रृंगार रस का एक उदाहरण दीजिए।
ग-शांत रस का स्थायी भाव लिखिए।
Answers
Answered by
0
Answer:
इस प्रकार अपने बारे में बताने को परिचय देना कहते हैं। जैसे हम अपना परिचय देते हैं, ठीक उसी प्रकार एक वाक्य में जितने शब्द होते हैं, उनका भी परिचय हुआ करता है।वाक्य में जो शब्द होते हैं,उन्हें ‘पद’ कहते हैं।उन पदों का परिचय देना ‘पद परिचय’ कहलाता है।
पद परिचय में किसी पद का पूर्ण व्याकरणिक परिचय दिया जाता है। व्याकरणिक परिचय से तात्पर्य है– वाक्य में उस पद की स्थिति बताना , उसका लिंग , वचन , कारक तथा अन्य पदों के साथ संबंध बताना।
Similar questions