ghatna varnan - jab main dara/dari - apne jeevan ki koi ghatna bataye pls help i will mark you as brainliest 2 story required almost plss..
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एक बार जब मेरे विद्यालय का वार्षिक उत्सव मनाया गया तब एक मैंने एक ऐसे व्यक्ति को देखा और सुना जिससे मेरे जीवन में पूर्ण परिवर्तन आ गया। सुबह 10 बजे कार्यक्रम आरंभ हुआ। सबसे पहले प्रधानाध्यापक जी ने मुख्य अतिथि, पंडित राम शास्त्री जी का स्वागत करा। फिर उन्होंने विद्यालय की प्रगति के बारे में बताया और मुख्य अतिथि जी को कुछ शब्द बोलने के लिए आमंत्रित किया।
पंडित राम शास्त्री जी को देखकर ही मेरा मन एकदम आकर्षित हो गया। वे अत्यंत शांत और प्रसन्न लग रहे थे। जब उन्होंने बोलना शुरू किया सब लोग मन्त्र मुग्ध हो गए। किसी को भी समय का ज्ञान नहीं रहा। एक घंटे बाद जब उनका प्रवचन पूर्ण हुआ हॉल तालियाँ से गूँज उठा। उनकी आवाज़ और उनकी बातों में कोई जादू था। उन्होंने समाज सेवा के बारे में बताया और भी अनेक अच्छी अच्छी बातें बतायीं जो मुझे बहुत अच्छी लगीं।
उसके बाद दो अध्यापकों ने विद्यालय में प्रदान करी जा रही शिक्षा के बारे में कुछ शब्द कहे। तत्पश्चात विद्यार्थियों ने एक नाटक प्रस्तुत करा जिसका मुख्य विषय था 'शिक्षा का महत्त्व'। लोगों ने उसे बहुत पसंद करा और मुख्य अतिथि जी ने भाग लेने वाले विद्यार्थियों की प्रशंसा करी।
दोपहर को सबको दावत दी गयी। विद्यार्थियों, अध्यापकों और विद्यार्थियों के माता पिता सबने स्वादिष्ट भोजन का आनंद लिया।
शाम को संगीत का कार्यक्रम प्रस्तुत करा गया। विद्यालय के, गायन में निपुण विद्यार्थियों ने एक उत्तम संगीत कार्यक्रम पेश करा। उसके बाद सबको घर जाते समय विद्यालय की ओर से एक पत्रिका उपहार में दी गयी जिसमें विद्यालय के बारे में विवरण दिया गया था। इस प्रकार विद्यालय का वार्षिक उत्सव शाम को 6 बजे संपन्न हुआ।
उस दिन के बाद से मैंने पंडित राम शास्त्री जी के बताये हुए रास्ते पर चलने का निश्चय किया। उसके बाद से मैंने सबके साथ प्यार से बात करना और सबकी सहायता करना शुरू कर दिया। मैंने अपना खाली समय समाज की सेवा में लगाना शुरू किया।
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