History, asked by jknain6, 9 months ago

हम्मूराबी की विधि संहिता का परिचय दीजिए​

Answers

Answered by kareena92
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Explanation:

हाम्मुरबी विधिसंहिता (Code of Hammurabi) बेबिलोनिया की एक प्राचीन विधिसंहिता है जिसे अच्छी तरह से संरक्षित करके रखा गया है। यह १७५४ ईसापूर्व की है जिसका प्रचलन बेबीलोन का छठे राजा हाम्बुरबी ने किया था। उसने अपने शासनकाल में कानून को तैयार करके उन्हें एक पत्थर पर खुदवाया था। उसने जिस पत्थर पर कानून को खुदवाया था वह काले रंग का था और उस पत्थर की ऊंचाई लगभग 8 फुट थी। इस पत्थर को बेबीलोन के प्रमुख जिगुरत में रखा गया था। इसी कानून को हम हम्मूराबी की विधि संहिता के नाम से जानते हैं। यह संहिता १९२० ईस्वी में सूसा (ईरान) मैं प्राप्त हुई थी और पेरिस के लूवरे संग्रहालय में आज भी सुरक्षित है।

Answered by iamdhruv2588
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Answer:

‘दी कोड ऑफ हम्मूराबी’, बेबीलोनिया साम्राज्य का सबसे पहला लिखित कानूनी दस्तावेज है. इसे राजा हम्मूराबी के शासनकाल के दौरान घोषित किया गया था. राजा हम्मूराबी ने अपने साम्राज्य को यूफ्रेटस नदी से लेकर पूरे दक्षिणी मेसोपोटामिया तक फैलाया.

बेबीलोनिया की इस संहिता में 282 नियमों का उल्लेख किया गया है, जोकि वाणिज्यिक चर्चा, कर प्रणाली और न्याय प्रणाली से जुड़े थे. इन सभी नियमों को एक उंगली जैसे दिखने वाले काले पत्थर पर उकेरा गया था.

इसे बाद में खजाने की फिराक में आए लुटेरे चुरा ले गए. इसे दोबारा से खोज कर बेबीलोनिया साम्राज्य के अधीन कर लिया गया.

आइए जानते हैं इतिहास की इस बेहद महत्वपूर्ण शिला व इसके रोचक तथ्यों के बारे में –

कौन हैं राजा हम्मूराबी!

हम्मूराबी कोड के बारे में जानने से पहले जरूरी है कि हम राजा हम्मूराबी के बारे में जान लें.

हम्मूराबी बेबीलोनिया साम्राज्य के छठे राजा थे, जिन्होंने मध्य मेसोपोटामिया यानी वर्तमान इराक पर 1792 बीसी से 1750 बीसी तक राज किया था.

राजा हम्मूराबी का परिवार अमोराइट जनजाति से संबंध रखता था, जोकि पश्चिमी सीरिया की अर्ध-भिक्षु जनजाति थी. हम्मूराबी का नाम भी दो अलग संस्कृतियों को दर्शाता था, जैसे कि अमोरिट में उनके नाम का मतलब होता है ‘परिवार’, जबकि अक्केबियन भाषा में इसका मतलब है ‘महान’. अक्केबियन भाषा बेबीलोनिया साम्राज्य में बोली जाने वाली प्राथमिक भाषा थी.

जब राजा हम्मूराबी बेबीलोनिया सल्तनत की गद्दी पर बैठे, तो उन्होंने अपने साम्राज्य को और भी विशाल करने का फैसला किया. इसके लिए उन्होंने सबसे पहले 1787 बीसी में अपनी सैन्य कार्यवाही शुरू की.

इसकी शुरुआत दक्षिण के ऊरुक और लसिन क्षेत्र से की गई. इसके बाद उन्होंने उत्तर पश्चिम और पूर्वी क्षेत्रों की ओर भी रुख किया. धीरे-धीरे इन क्षेत्रों में अधिकतर स्थानों को बेबीलोनिया शासन के अधीन कर लिया गया.

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