English, asked by souravsandhu8241, 2 months ago

I. निम्न लिखित पंक्तियों की प्रसंग संदर्भ सहित व्याख्या कीजिए।तू रूप है किरण में, सौंदर्य है सुमन में |तू प्राण है पवन में, विस्तार है गगन में ||तू ज्ञान हिंदुओं में, ईमान मुस्लिमों में ।तू प्रेम किश्चियन में, तू सत्य है सृजनमें ॥​

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Answered by shishir303
7

तू रूप है किरण में, सौंदर्य है सुमन में,

तू प्राण है पवन में, विस्तार है गगन में।

तू ज्ञान हिंदुओं में, ईमान मुस्लिमों में,

तू प्रेम किश्चियन में, तू सत्य है सृजनमें ॥​

संदर्भ-प्रसंग ➲ ये पक्तियां कवि रामनरेश त्रिपाठी द्वारा रचित कविता “मैं ढूंढता तुझे” नामक कविता से ली गईं हैं। इस कविता में कवि ने ईश्वर की महिमा का गुणगान किया है।

व्याख्या ➲ कवि कहता है, हे ईश्वर आप किरण में रूप हो, फूलों में सौंदर्य हो, पवन में प्राण हो, आकाश में विस्तार हो। आप हिंदुओ में ज्ञान हो, मुसलमानों में ईमान हो, ईसाईयों में प्रेम हो तो सृजन में सत्य हो।

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