Hindi, asked by dineshmausun, 23 days ago

(III) कबीर की वाणी किस ग्रन्थ में संग्रहीत है?​

Answers

Answered by shishir303
1

कबीर की वाणी ‘बीजक’ नाम के ग्रंथ में संकलित है।

व्याख्या ⦂

✎...  कबीरदास जी रचनायें कबीर के दोहे नाम से प्रसिद्ध हैं। उनके शिष्यों ने उनकी रचनाओं का संग्रह कर उसको ‘बीजक’ नाम दिया। इस ग्रंथ के तीन भाग हैं।

1. रमैनी

2. शबद

3. साखी

रमैनी ⦂ रमैनी अधिकतर चौपाईयां छंदों के रूप में लिखे गयी हैं। इसमें कबीर के दार्शनिक विचारों का प्रकटीकरण होता है।

शबद ⦂ शबद अर्थात पद। इसमें कबीरदास जी ने संगीतात्मक शैली में भावप्रधान होकर लिखा हैं। इन पदों में कबीर अपने प्रेम और साधना के भाव को अभिव्यक्त करते हैं।

साखी ⦂ इसमें दोहों के रूप में साखियां लिखी गयी हैं। साखी संस्कृत के साक्षी शब्द का अपभ्रंश रूप है। कबीर की साखियां ही जनमानस में सबसे अधिक लोकप्रिय हैं।

बीजक कबीर से संबंधित ग्रंथ है। हालांकि इस विषय में संदेह है कि बीजक कबीर द्वारा ही लिखा गया है. लेकिन यह कबीर के दोहों से संबंधित ग्रंथ है, इस बात में कोई संदेह नहीं है। बीजक ग्रंथ में कबीर द्वारा रचित दोहों का संकलन किया गया है। इस ग्रंथ में कबीर के 600 से अधिक छंद (दोहे) संकलित हैं। बीजक ग्रंथ में कुल ग्यारह खंड या अंग या अध्याय हैं, जो इस प्रकार हैं..

1. रमैनी

2. शबद

3. ज्ञान चौंतीसा

4. विप्रमतीसी

5. कहरा

6. वसन्त

7. चाचर

8. बेलि

9. बिरहुली

10. हिंडोला

11. साखी

◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌◌

Similar questions