Hindi, asked by vanitasenghani857, 6 months ago

खंड 'क
प्र.१ निम्नलिखित गदयांश के आधार पर प्रश्नो के उत्तर दीजिए ।
वर्षा
(१०)
ऋतु का नाम आते ही मन - मयूर नाच उठता है। भयंकर गर्मी से राहत मिलती है। ठंडी फुहारे से स्वर्गिक
आनंद की अनुभूति होती है। सभी ऋतुओं में मनमोहक वर्षा ऋतु है। गर्मी की तपन के बाद वर्षा की फुहारों का आगमन
बड़ा आनंददायी होता है। पशु-पक्षी और मानव ही नहीं, पेड़-पौधों पर भी इस ऋतु का प्रभाव पड़ता है। ऐसा लगता है
मानो वीरान व बंजर जमीन पर रंगबिरंगे फूल खिल उठे हो।
वैशाख और ज्येष्ठ मास की भयंकर अगन के बाद आषाढ़ मास में मोरों की कूक से अहसास होता है कि
बरसात की ऋतु आने वाली है। तब तक गर्मी से मन व्यथित हो चुका होता है। वर्षा शुरू होते ही खेत-खलिहानों
में हरियाली शुरू हो जाती है। लोग धान की बुआई मे व्यस्त हो जाते हैं। मोर जी भरकर नृत्य करते हैं। कोयल
की
कूक बड़ी सुहानी लगती है। बच्चे उत्साह से भर जाते हैं। नंगे बदन वर्षा में भीगते हुए इधर-उधर भागना बड़ा अच्छा
लगता है।
अच्छी बरसात हो तो नर-नारियाँ झूम उठते हैं। खेतों में लबालब भरे पानी में धान की बुआई, खेतों की जुताई।
किसानों का मन मुदित हो उठता है। ऐसा लगता है सारी प्रकृति एक नए अवतार में प्रकट हुई है। सब कुछ वर्षा में धुलकर
नया-नया सा लगता है। अच्छी बरसात से धरती में पानी का स्तर बढ़ जाता है। सूखे कुएँ दोबारा पानी से भर जाते हैं।
तालाबों और जोहड़ों में बतख और पशु नहाते नजर आते है।
एक तरफ वर्षा ऋतु प्रशन्नतादायी अनुभूति देती है। दूसरी तरफ इस ऋतु में कुछ समस्याएँ भी खड़ी हो
जाती है। महानगरों में सीवर जाम हो जाते है, जिसके कारण सादकों पर नदी का-सा दृश्य दिखाई देता है।
यातायात-व्यवस्था चौपट हो जाती है। नदियों में बाढ़ आ जाती है, जिससे गाँव के गाँव बर्बाद हो जाते है। जान-
माल की बहुत हानि होती है। रास्ते बंद हो जाते है। अत्यंत परेशानी पैदा होती है।
(क) लिखे गए गदयांश का उचित शीर्षक दे?
(ख) मन-मयूर क्यों नाच उठता है ?
(ग) स्वर्गिक आनंद की अनुभूति का क्या अर्थ है ?
(घ) वर्षा ऋतु किन-किन महिनों में आती है ?
(इ) अच्छी बरसात होने पर क्या-क्या होता है ?​

Answers

Answered by jaswantsingh96544842
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Answer:

Bhai book ma he answer ya phado is gadyans ko agar phir bhe na meile to Google se nekal lo

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