Hindi, asked by ahujakrishna51, 4 months ago

lekhak Hai Budhiya ke Dukh Ka Karan kis Prakar Pata Lagaya​

Answers

Answered by ritikabijewar
3

Explanation:

उसके घर में पोते-पोती और बीमार बहू के लिए कुछ भी खाने को न था। शोक मनाने की जगह खरबूजे बेचने की विवशता और बेटे की मृत्यु के दुख के कारण वह फफक-फफक कर रोए जा रही थी। लेखक ने बुढ़िया के दुःख का कारण आस-पड़ोस की दुकानों से पूछकर पता लगाया था। हमारे समाज में व्यक्ति की पोशाक देखकर उसका स्तर निर्धारित किया जाता है।

Answered by sonam1808
7

Answer:

उसके घर में पोते-पोती और बीमार बहू के लिए कुछ भी खाने को न था। शोक मनाने की जगह खरबूजे बेचने की विवशता और बेटे की मृत्यु के दुख के कारण वह फफक-फफक कर रोए जा रही थी। लेखक ने बुढ़िया के दुःख का कारण आस-पड़ोस की दुकानों से पूछकर पता लगाया था। हमारे समाज में व्यक्ति की पोशाक देखकर उसका स्तर निर्धारित किया जाता है।

Explanation:

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