मेंडल के प्रयोगों से कैसे पता चला कि विभिन्न लक्षण स्वतंत्र रूप से वंशानुगत होते हैं?
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उत्तर :
मंडल ने दो विभिन्न विकल्पों, लक्षणों वाले मटर के पौधे का चयन करके उनसे पौधे उगाए थे। लंबे पौधे तथा बौने पौधे का संकरण करा कर प्राप्त संतति में लंबे एवं बौने पौधे की गणना की । प्रथम संतति(F1) में कोई पौधा बीच की ऊंचाई का नहीं था। सभी पौधे लंबे थे। दोनों लक्षणों में से केवल 1 लक्षण दिखाई दिया था लेकिन दूसरी पीढ़ी(F2) में सभी पौधे लंबे नहीं थे बल्कि उनमें से एक चौथाई बौने पौधे थे। इससे स्पष्ट हुआ कि किसी भी लक्षण के दो विकल्प लैंगिक जनन द्वारा उत्पन्न होने वाले जीवो में किसी भी लक्षण के दो विकल्प की स्वतंत्र रूप से वंशानुगति होती है।
आशा है कि यह उत्तर आपकी मदद करेगा।।
Answer:
मेंडल के प्रयोग में F1 पीढ़ी के सभी पौधे लम्बे थे तथा पुनः F1 पीढ़ी के दो पौधों का संकरण किया गया, तब F2 पीढ़ी के पौधे या तो लम्बे या बौने थे। लम्बे तथा बौने का अनुपात 3 : 1 था। कोई भी पौधा बीच की ऊँचाई का नहीं था। अर्थात् लंबे/बौनेपन का लक्षण स्वतंत्र रूप से वंशानुगत होते हैं।