Hindi, asked by 563abinashmaurya, 10 months ago

निम्नलिखित पंक्तियों का भावार्थ बताइए?​

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Answers

Answered by hemlatakdesh
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Explanation:

दोहा

तव प्रताप उर राखि प्रभु जैहउँ नाथ तुरंत।

अस कहि आयसु पाइ पद बंदि चलेउ हनुमंत॥60 क॥

भावार्थ

हे नाथ! हे प्रभो! मैं आपका प्रताप हृदय में रखकर तुरंत चला जाऊँगा। ऐसा कहकर आज्ञा पाकर और भरतजी के चरणों की वंदना करके हनुमान्‌जी चले

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