नेपोलियन बोनापार्ट की विभिन्न विजयो का वर्णन
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नेपोलियन बोनापार्ट (15 अगस्त 1769 - 5 मई 1821) (जन्म नाम नेपोलियोनि दि बोनापार्टे) फ्रान्स की क्रान्ति में सेनापति, 11 नवम्बर 1799 से 18 मई 1804 तक प्रथम कांसल के रूप में शासक और 18 मई 1804 से 6 अप्रैल 1814 तक नेपोलियन के नाम से सम्राट रहा। वह पुनः 20 मार्च से 22 जून 1815 में सम्राट बना। वह यूरोप के अन्य कई क्षेत्रों का भी शासक था।
नेपोलियन बोनापार्ट
नेपोलियन बोनापार्ट
फ्रांस के सम्राटशासनावधि17 मई 1804 – 6 अप्रैल 1814
20 मार्च 1815 – 22 जुन 1815राज्याभिषेक2 दिसंबर 1804पूर्ववर्तीस्वयं प्रथम वाणिज्य-दूतउत्तरवर्तीफ्रांस के लुई XVIIIइटली के राजाReign१७ मार्च १८०५ – ११ अप्रैल १८१४राज्याभिषेक२८ मई १८०५पूर्ववर्तीस्वयं-इटली के राष्ट्रपतिउत्तरवर्तीविक्टर इम्मान्युल द्वितीय
जन्मनेपोलियन बोनापार्ट
१५ अगस्त १७६९
अज़ाशियोनिधन5 मई १८२१ (उम्र 51)
लांगवुड, सेंट हेलेनासमाधि
लेस इनव्हालिडेस्
जीवनसंगीजोसेफीनब्युहनेंस और मेरी लुईससंताननेपोलियन द्वितीयपूरा नामनेपोलियन बोनापार्टघरानाबोनापार्ट कुलपिताकार्लो बोनापार्टमातालेटीजिए रमोलिनोधर्मरोमन कैथोलिकताहस्ताक्षर
इतिहास में नेपोलियन विश्व के सबसे महान सेनापतियों में गिना जाता है। उसने एक फ्रांस में एक नयी विधि संहिता लागू की जिसे नेपोलियन की संहिता कहा जाता है।
वह इतिहास के सबसे महान विजेताओं में से एक था। उसके सामने कोई रुक नहीं पा रहा था। जब तक कि उसने 1812 में रूस पर आक्रमण नहीं किया, जहां सर्दी और वातावरण से उसकी सेना को बहुत क्षति पहुँची। 18 जून 1815 वॉटरलू के युद्ध में पराजय के पश्चात अंग्रज़ों ने उसे अन्ध महासागर के दूर द्वीप सेंट हेलेना में बन्दी बना दिया। छः वर्षों के अन्त में वहाँ उसकी मृत्यु हो गई। इतिहासकारों के अनुसार अंग्रेज़ों ने उसे संखिया (आर्सीनिक) का विष देकर मार डाला।