Hindi, asked by khansohail0895, 9 months ago

प्र.३. एक वाक्य में उत्तर लिखिए
--शांतिनिकेतन में लोग कहां से आने वाले थे?
उत्तर-
-- शांतिनिकेतन में होने वाले कार्यक्रम की अध्यक्षता कौन करने वाला था?
उत्तर:-
.ac.
=-गुरुदेव को किस रचना के लिए नोबेल पुरस्कार प्राप्त हुआ था?
उत्तर-​

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Answered by pp1272004
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Answer:

3.रवींद्रनाथ टैगोर भारत ही नहीं एशिया के प्रथम व्‍यक्ति थे, जिन्‍हें नोबेल पुरस्‍कार से सम्‍मानित किया गया था. उन्हें 1913 में उनकी कृति गीतांजली के लिए नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था. कहा जाता है कि नोबेल पुरस्कार गुरुदेव ने सीधे स्वीकार नहीं किया.

Answered by hemantsuts012
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Answer:

अपने शांत वातावरण और साहित्यिक पृष्ठभूमि के लिए शांतिनिकेतन मशहूर है. ये जगह कोलकाता से 180 किमी उत्तर की ओर पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में स्थित है. कविगुरु रवीन्द्रनाथ टैगोर ने शांतिनिकेतन में विश्व-भारती विश्वविद्यालय की स्थापना कर इस जगह को मशहूर बना दिया.

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प्र.३. एक वाक्य में उत्तर लिखिए

--शांतिनिकेतन में लोग कहां से आने वाले थे?

उत्तर-

-- शांतिनिकेतन में होने वाले कार्यक्रम की अध्यक्षता कौन करने वाला था?

उत्तर:-

.ac.

=-गुरुदेव को किस रचना के लिए नोबेल पुरस्कार प्राप्त हुआ था?

उत्तर-

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प्र.३. एक वाक्य में उत्तर लिखिए

--शांतिनिकेतन में लोग कहां से आने वाले थे?

उत्तर-

-- शांतिनिकेतन में होने वाले कार्यक्रम की अध्यक्षता कौन करने वाला था?

उत्तर:-

..

=-गुरुदेव को किस रचना के लिए नोबेल पुरस्कार प्राप्त हुआ था?

उत्तर-

Explanation:

अपने शांत वातावरण और साहित्यिक पृष्ठभूमि के लिए शांतिनिकेतन मशहूर है. ये जगह कोलकाता से 180 किमी उत्तर की ओर पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में स्थित है. कविगुरु रवीन्द्रनाथ टैगोर ने शांतिनिकेतन में विश्व-भारती विश्वविद्यालय की स्थापना कर इस जगह को मशहूर बना दिया.

रवीन्द्रनाथ के पिता देवेंद्रनाथ टैगोर ने वर्ष 1863 में सात एकड़ जमीन पर एक आश्रम की स्थापना की थी। वहीं आज विश्वभारती है। रवीन्द्रनाथ ने 1901 में सिर्फ पांच छात्रों को लेकर यहां एक स्कूल खोला। इन पांच लोगों में उनका अपना पुत्र भी शामिल था। 1921 में राष्ट्रीय विश्वविद्यालय का दर्जा पाने वाले विश्वभारती में इस समय लगभग छह हजार छात्र पढ़ते हैं। इसी के इर्द-गिर्द शांतिनिकेतन बसा था।

कार्यक्रम की अध्यक्षता गुरुदेव रवींद्रनाथ करने वाले थे।

महात्मा गांधी ने रवींद्रनाथ टैगोर को 'गुरुदेव' की उपाधि दी थी। बचपन से ही रवींद्रनाथ टैगोर कविताएं और कहानियां लिखा करते थे। रवींद्रनाथ टैगोर की काव्यरचना गीतांजलि के लिए उन्हें 1913 में साहित्य का नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।

महान कवि और नोबेल पुरस्कार विजेता रवींद्रनाथ टैगोर की आज जयंती है। देश भर में रवींद्रनाथ टैगोर का आज यानी 7 मई को 160वां जन्मदिवस मनाया जा रहा है। रवींद्रनाथ टैगोर का जन्म कोलकाता के जोरसंको हवेली में 7 मई 1861 को हुआ था। इनके पिता का नाम देबेंद्रनाथ टैगोर और माता का नाम सरदा देवी था। महात्मा गांधी ने रवींद्रनाथ टैगोर को 'गुरुदेव' की उपाधि दी थी। बचपन से ही रवींद्रनाथ टैगोर कविताएं और कहानियां लिखा करते थे। रवींद्रनाथ टैगोर की काव्यरचना गीतांजलि के लिए उन्हें 1913 में साहित्य का नोबेल पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। टैगोर नोबेल पुरस्कार पाने वाले पहले गैर यूरोपीय शख्स थे। रवींद्रनाथ टैगोर ने ही भारत का राष्ट्रगान 'जन गण मन' लिखा है। उन्होंने बांग्लादेश का राष्ट्रगान 'आमार सोनार बांग्ला' भी लिखा है। वह ऐसा करने वाले सिर्फ एक मात्र कवि हैं। दुनिया भर में रवींद्रनाथ टैगोर को एक महान कवि और लेखक के तौर पर जाना जाता हैl

#SPJ3

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