प्रथम दो छंदों में से अलंकार छाँटकर लिखिए और उनसे उत्पन्न काव्य-सौंदर्य पर टिप्पणी कीजिए।
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Answer:
konse chand lesson to btao
प्रथम दो छंदों में से अलंकार और उनसे उत्पन्न काव्य-सौंदर्य पर टिप्पणी-
Explanation:
पहला पद : यह दुःख दगध न जानै कंतू। जोबन जरम करै भसमंतू।
दूसरा पद : बिरह बाढ़ि भा दारुन सीऊ। कँपि-कँपि मरौं लेहि हरि जीऊ।
काव्य सौंदर्य:- प्रस्तुत पहले पद की भाषा अवधी है। शब्दों का इतना सटीक वर्णन किया है कि भाषा प्रवाहमयी और गेयता के गुणों से भरी है। भाषा सरल और सहज है। बहुत ही मार्मिक रूप में वियोग से उत्पन्न विरह का वर्णन किया गया है। पूरे पद में विरहणि के दुख की तीव्रता दिखाई देती है।
अलंकार: 'दुःख दगध' तथा 'जोबन जरम' में अनुप्रास अलंकार है।
काव्य सौंदर्य:- प्रस्तुत दूसरे पद की भाषा अवधी है। शब्दों का इतना सटीक वर्णन किया गया है कि भाषा प्रवाहमयी और गेयता के गुणों से भरी है। भाषा सरल और सहज है। पूस के माह में ठंड की मार का सजीव वर्णन किया गया है।
अलंकार:
'बिरह बाढ़ि' में अनुप्रास अलंकार है।
'कँपि-कँपि' में पुनरुक्ति प्रकाश अलंकार है।