Hindi, asked by parmeshwarsahu050419, 6 months ago



Q18) बंदर और मगर की कथावस्तु 10 वाक्य में लिखें संस्कृत में

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Answered by kaabushoaib
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बुद्धिमान बंदर और मगरमच्छ की कहानी

एक था घना जंगल, जहां जानवर एक दूसरे के साथ बहुत प्यार से रहा करते थे। उस जंगल के बीच एक बहुत सुंदर और बड़ा तालाब था। उस तालाब में एक मगरमच्छ रहता था। तालाब के चारों ओर बहुत सारे फलों के पेड़ लगे हुए थे। उनमें से एक पेड़ पर बंदर रहता था। बंदर और मगरमच्छ एक दूसरे के बहुत अच्छे दोस्त थे।

बंदर पेड़ से मीठे और स्वादिष्ट फल खाता था और साथ ही अपने दोस्त मगर को भी देता था। बंदर अपने दोस्त मगर का खास ख्याल रखता और मगर भी उसे अपनी पीठ पर बैठाकर पूरे तालाब में घुमाता था।

दिन निकलते गए और दोनों की दोस्ती गहरी होती गई। बंदर जो फल मगरमच्छ को देता था, मगरमच्छ उनमें से कुछ फल अपनी पत्नी को भी खिलाता था। दोनों फलों को बड़े ही चाव से खाते थे।

बहुत दिनों के बाद एक बार मगर की पत्नी ने कहा कि बंदर तो हमेशा ही स्वादिष्ट फल खाता रहता है। जरा सोचो उसका कलेजा कितना स्वादिष्ट होगा। वह मगर से जिद करने लगी कि उसे बंदर का कलेजा खाना है।

मगर ने उसे समझाने कि कोशिश की, लेकिन उसने नहीं माना और वो मगर से रूठ गई। अब मगर को न चाहते हुए भी हां बोलना पड़ा। उसने कहा कि वो दूसरे दिन बंदर को अपनी गुफा में लेकर आ जाएगा, तब उसका कलेजा निकालकर खा लेना। इसके बाद मगर की पत्नी मान गई।

हर दिन की तरह स्वादिष्ट फलों के साथ बंदर मगर का इंतजार करने लगा। कुछ ही देर में मगर भी आ गया और दोनों ने मिलकर फल खाए। मगरमच्छ बोला कि दोस्त आज तुम्हारी भाभी तुमसे मिलना चाहती है। चलो तालाब की दूसरी ओर मेरा घर है, आज वहां चलते हैं।

बंदर झट से मान गया और उछलकर मगर की पीठ पर बैठ गया। मगर उसे लेकर अपनी गुफा की ओर बढ़ने लगा। जैसे ही दोनों तालाब के बीच पहुंचे, मगर ने कहा कि मित्र आज तुम्हारी भाभी की इच्छा है कि वो तुम्हारा कलेजा खाये। ऐसा कहकर उसने पूरी बात बताई।

Explanation:

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