Biology, asked by AyushSharma802, 1 year ago

रक्त पट्टीकाणु का क्या महत्व है?

Answers

Answered by Anonymous
7

एककोशिक जीव या एक स्तरीय एवं द्विस्तरीय बहुकोशिकीय जीव ऑक्सीजन तथा पोषण सीधे माध्यम से ग्रहण कर लेते हैं तथा कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जी पदार्थों को सीधे माध्यम में त्याग कर देते हैं।

अधिकांश बहुकोशिक जीवों की सभी कोशिकायें वातावरण के सीधे सम्पर्क में नहीं रहती है, अतः ऐसे तंत्र की आवश्यकता पड़ती है जो गैसीय विनिमय एवं खाद्य पदार्थों की आपूर्ति कर सके तथा उत्सर्जी पदार्थों को कोशिका से वातावरण में ले जा सके। इस तंत्र को को परिसंचरण तंत्र कहते हैं।

* रक्त का संगठन

रूधिर:- रूधिर एक तरल संयोजी ऊतक होता है। यह एक श्यान तरल है, जिसके दो भाग होते हैं, प्लाज्मा एवं रूधिर कणिकाएँ।

मानव के अन्दर लगभग 5 लीटर रूधिर होता है।

रूधिर कणिकाएँ:-

रुधिर कणिकाएँ प्लाज्मा में तैरती हुई पाई जाती है। रूधिर आयतन का 45% भाग कणिकाएँ होती है। रूधिर कणिकाओं की प्रतिशतता को हीमेटोक्रिट कहते हैं।

रूधिर कणिकाएँ तीन प्रकार की होती हैहै-

(1) लाल रूधिर कणिकाएँ या रक्ताणु।

(2) श्वेत रुधिर कणिकाएं या श्वेताणु।

(3) रुधिर पट्टीकाणु।

Answered by samir4934
2

Answer:

Hie

Explanation:

एककोशिक जीव या एक स्तरीय एवं द्विस्तरीय बहुकोशिकीय जीव ऑक्सीजन तथा पोषण सीधे माध्यम से ग्रहण कर लेते हैं तथा कार्बन डाइऑक्साइड उत्सर्जी पदार्थों को सीधे माध्यम में त्याग कर देते हैं।

अधिकांश बहुकोशिक जीवों की सभी कोशिकायें वातावरण के सीधे सम्पर्क में नहीं रहती है, अतः ऐसे तंत्र की आवश्यकता पड़ती है जो गैसीय विनिमय एवं खाद्य पदार्थों की आपूर्ति कर सके तथा उत्सर्जी पदार्थों को कोशिका से वातावरण में ले जा सके। इस तंत्र को को परिसंचरण तंत्र कहते हैं।

* रक्त का संगठन

रूधिर:- रूधिर एक तरल संयोजी ऊतक होता है। यह एक श्यान तरल है, जिसके दो भाग होते हैं, प्लाज्मा एवं रूधिर कणिकाएँ।

मानव के अन्दर लगभग 5 लीटर रूधिर होता है।

रूधिर कणिकाएँ:-

रुधिर कणिकाएँ प्लाज्मा में तैरती हुई पाई जाती है। रूधिर आयतन का 45% भाग कणिकाएँ होती है। रूधिर कणिकाओं की प्रतिशतता को हीमेटोक्रिट कहते हैं।

रूधिर कणिकाएँ तीन प्रकार की होती हैहै-

(1) लाल रूधिर कणिकाएँ या रक्ताणु।

(2) श्वेत रुधिर कणिकाएं या श्वेताणु।

(3) रुधिर पट्टीकाणु।

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