सूरदास के पद' पाठ के संबंध में कौन-सी बात सही नहीं है? *
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पाठ के कवि सूरदास हैं, जो ब्रजभाषा में लिखे हैं तथा सूरसागर उनकी महत्वपूर्ण रचना है।
पाठ में गोपियां उद्धव को उलाहना देती हैं, क्योंकि वे कृष्ण से प्रेम करती हैं।
उद्धव गोपियों को कृष्ण की ओर से प्रेम का संदेशा लेकर आए हैं, लेकिन गोपियां ज्ञान को महत्व देती हैं।
"हरि हैं राजनीति पढ़ आए" - इस पंक्ति को गोपियां उद्धव से कृष्ण के ऊपर व्यंग्य करते हुए कहती हैं।
Answers
सही उत्तर होगा..
➲ उद्धव गोपियों को कृष्ण की ओर से प्रेम का संदेशा लेकर आए हैं, लेकिन गोपियां ज्ञान को महत्व देती हैं।
✎... ‘सूरदास के पद’ पाठ के संबंध में यह बात सही नहीं है कि उद्धव गोपियों को कृष्ण की ओर से प्रेम का संदेश लेकर आए हैं, लेकिन गोपियां ज्ञान को महत्व देती हैं।
जबकि यह बात बिल्कुल इसके विपरीत है, अर्थात उद्धव गोपियों के लिए कृष्ण की ओर से ज्ञान का संदेश लेकर आए थे, लेकिन गोपियां प्रेम को महत्व देती थीं, इसी कारण उन्होंने उद्धव द्वारा दिए गए योग एवं ज्ञान के संदेश को नकार दिया और उन्हें उलाहना भी दिया।
शेष तीनों बातें सत्य हैं कि पाठ के कवि सूरदास हैं, जो ब्रज भाषा में लिखे गए हैं और ‘सूरसागर’ उनकी महत्वपूर्ण रचना है।
गोपियां उद्धव को ज्ञान का संदेश देने के लिए उलाहना भी देती हैं, क्योंकि वह कृष्ण से प्रेम करती थी, और उन्हें उद्धव द्वारा दिया ज्ञान का संदेश पसंद नही आया।
हरि हैं राजनीति पर आए इस पंक्ति को बोलकर गोपियां कृष्ण के ऊपर व्यंग भी करती हैं।
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कुछ और जानें —▼
ऊधौ भले लोग आगे के, पर हित डोलत धार” पंक्ति के द्वारा गोपियाँ क्या बताना चाहती हैं ? सूरदास के ‘पदों’ के आधार पर लिखिए |
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गोपियों ने अपनी तुलना किससे की है?
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